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शनिवार, 12 अक्टूबर 2024
मेष का मासिक राशिफल / Mesh Masik Rashifal in Hindi
October, 2024
सामान्य
यह महीना मेष राशि के जातकों के लिए मिश्रित परिणाम लेकर आने वाला है। इस महीने आपको विशेष रूप से अपने स्वास्थ्य पर ध्यान देने की आवश्यकता पड़ेगी क्योंकि महीने की शुरुआत से ही आपकी सेहत में गिरावट आ सकती है और अगर आप उस पर ध्यान नहीं देते हैं तो आपको चिकित्सीय देखभाल की आवश्यकता पड़ेगी और अस्पताल भी जाना पड़ सकता है। आर्थिक रूप से बात करें तो आमदनी अच्छी होने के बावजूद भी आपके निरंतर खर्च बने रहेंगे जो आपको थोड़ी सी पीड़ा दे सकते हैं इसलिए आपको धन के प्रबंधन पर सही ध्यान देना चाहिए। जहां तक करियर की बात है तो आप अपनी नौकरी में भरपूर मेहनत करेंगे। आपके वरिष्ठ अधिकारी किसी-किसी बात पर आपसे बहस कर सकते हैं लेकिन वह आपके काम की कदर करेंगे और इससे आपको नौकरी में अच्छे परिणाम मिलेंगे। आपको अपने विरोधियों से सतर्क रहना चाहिए। व्यापार करने वाले जातकों के लिए यह महीना बढ़िया दिखाई देता है। आपकी उम्मीदें पूरी होंगी और आप कामयाबी की राह पर आगे बढ़ेंगे और आपका व्यापार उन्नति करेगा। विद्यार्थी वर्ग को कठिन चुनौतियों का सामना करना पड़ेगा और आपकी पलकों पर परीक्षा होगी लेकिन आपकी मेहनत आपको सफलता दिलाएगी। पारिवारिक जीवन में उतार-चढ़ाव के बावजूद खुशी भरे पलों की आमद होगी। प्रेम संबंधों में उतार-चढ़ाव रहेगा लेकिन महीने के उत्तरार्ध में समस्याओं में कमी आएगी। प्रेम विवाह की संभावना बन सकती है। वैवाहिक संबंधों में प्रेम और रूमानियत का योग रहेगा। महीने का पूर्वार्ध अधिक अनुकूल रहेगा। उत्तरार्द्ध में कुछ समस्याएं खड़ी हो सकती हैं। विदेश यात्रा करना चाहते हैं तो इस महीने आपको सफलता मिल सकती है।
कार्यक्षेत्र
करियर के दृष्टिकोण से यह महीना मध्य रूप से फलदायक रहेगा। दशम भाव के स्वामी शनि महाराज एकादश भाव में पूरे महीने वक्री अवस्था में विराजमान रहेंगे जिससे आपको अपनी नौकरी में बहुत ज्यादा मेहनत करने की आवश्यकता पड़ेगी और आपके ऊपर काम का दबाव भी रहेगा। आपके वरिष्ठ अधिकारी किसी न किसी बात पर आपसे बहस आदी कर सकते हैं लेकिन वह आपके काम को पसंद करते हैं यह आपको जाहिर नहीं होने देंगे इसलिए आप अपने काम को बेहतर से बेहतर करने की कोशिश करते रहें। तीसरे भाव में मंगल महाराज 20 अक्टूबर तक बने रहेंगे जिससे आप कठिन चुनौतियों को अपनी मेहनत और कार्य कुशलता से आगे बढ़ाने में सफल रहेंगे और आपके सहकर्मियों और विरोधियों को धूल चटाने में कामयाब रहेंगे। 20 अक्टूबर से मंगल कर्क राशि में आकर आपके दशम और एकादश भाव पर दृष्टि डालेंगे जिससे आप अपने काम में और अधिक मजबूती दिखा पाएंगे। छठे भाव के स्वामी बुध महाराज महीने की शुरुआत में सूर्य और केतु के साथ छठे भाव में विराजमान रहेंगे और उन पर मंगल और बृहस्पति की दृष्टि होगी इसकी वजह से आपके विरोधी आपको परेशान करने की कोशिश करेंगे लेकिन, महीने के उत्तरार्ध में बुध और सूर्य आपके सप्तम भाव में आ जाएंगे और 20 अक्टूबर से मंगल भी चतुर्थ भाव में आ जाएंगे तब इन समस्याओं में कमी आएगी। आप अपने विरोधियों को पहचानते हुए एक अच्छे विजेता के रूप में अपनी पहचान बनाएंगे और कार्य क्षेत्र में अपनी स्थिति को और प्रबल बना लेंगे। महीने का अंतिम सप्ताह आपके लिए बहुत अच्छा रहेगा। इस दौरान आपके पद में वृद्धि का समाचार आपको मिल सकता है। व्यापार करने वाले जातकों के लिए महीने की शुरुआत बेहद अच्छी रहेगी। सप्तम भाव के स्वामी शुक्र महाराज सप्तम भाव में ही विराजमान रहकर आपकी उम्मीदों को पंख लगाएंगे। आप जो कुछ भी कोशिश करेंगे उसमें सफलता प्राप्त करेंगे। हालांकि छठे भाव में ग्रहों का जमावड़ा और उन पर मंगल और बृहस्पति की दृष्टि के कारण व्यावसायिक खर्च और पूंजी निवेश बढ़ सकता है लेकिन इससे आपको विदेशी व्यापार का लाभ भी मिल सकता है। 13 अक्टूबर से शुक्र सप्तम भाव से निकलकर अष्टम भाव में जाएंगे तब आपको थोड़ी सावधानी बरतनी होगी और चोरी छुपे कोई भी ऐसा कार्य करने से बचना होगा जो कानूनी रूप से गलत हो क्योंकि इसका असर आपके व्यापार पर पड़ सकता है। हालांकि मंगल के चौथे भाव में 20 अक्टूबर को आ जाने से आपके व्यावसायिक साझेदार से कुछ कहा सुनी हो सकती है इसलिए थोड़ी सावधानी रखें। फिर भी आपको सरकारी क्षेत्र से भी लाभ महीने के उत्तरार्द्ध में मिल सकता है और व्यापार में कुछ नए संपर्क स्थापित होने का फायदा होगा।
आर्थिक
यदि आपकी आर्थिक स्थिति को देखा जाए तो यह महीना आपके लिए उतार-चढ़ाव से भरा रहने वाला है। पूरे महीने शनि महाराज वक्री अवस्था में एकादश भाव में रहेंगे जो आपकी आर्थिक स्थिति के लिए बेहद अनुकूल रहेगा और आपकी आमदनी में नित्य नई प्रगति होती रहेगी और इजाफा होता रहेगा जिससे आपकी आर्थिक स्थिति दिन प्रतिदिन बढ़िया रहेगी। आपकी दैनिक आमदनी भी अच्छी रहेगी इसलिए धन की कमी आपके पास नहीं होगी लेकिन द्वादश भाव में राहु की उपस्थिति और छठे भाव में सूर्य, बुध, केतु की उपस्थिति होने से आपके अप्रत्याशित खर्च होंगे। खर्च व्यर्थ की चीजों पर ज्यादा होंगे जिससे धन का अपव्यय होगा और इसलिए आपको परेशान होना पड़ सकता है। इसके अतिरिक्त किसी की बीमारी को ठीक करने के लिए भी आपको धन खर्च करना पड़ सकता है लेकिन आपके लिए 9 अक्टूबर से वक्री बृहस्पति की स्थिति भी अनुकूलता लेकर आएगी और आपके धन में वृद्धि करवाएगी। इस प्रकार देखें तो यह महीना हद से ज्यादा खर्चों के लिए जाना जाएगा लेकिन आपकी आमदनी में भी निरंतरता बनी रहेगी इसलिए आपको बहुत ही सही तरीके से अपने धन के प्रबंधन पर ध्यान देना चाहिए ताकि किसी भी तरह की कोई बड़ी समस्या आपको परेशान ना कर पाए। अगर आप कोई संपत्ति खरीदना चाहते हैं तो उसके लिए महीने का पूर्वार्ध अनुकूल रहेगा। उत्तरार्ध में किसी भी संपत्ति में हाथ ना डालें। चाहे वह चल संपत्ति हो अथवा अचल क्योंकि उससे नुकसान होने की संभावना बन सकती है। इस महीने आपके व्यापार में भी धन का निवेश करना पड़ सकता है।
स्वास्थ्य
यह महीना स्वास्थ्य के दृष्टिकोण से थोड़ा कमजोर रहने की संभावना दिखाई दे रही है। आपके राशि स्वामी मंगल महाराज तीसरे भाव में विराजमान रहेंगे जिससे आपको हर चुनौती के प्रति मजबूती प्रदान करेंगे और आप अपनी हर समस्या से लड़ पाएंगे लेकिन 20 अक्टूबर से मंगल चतुर्थ भाव में आकर अपनी नीच राशि कर्क में विराजमान रहेंगे जिससे आपको रक्त संबंधित समस्याएं और छाती में जकड़न और छाती में जलन आदि से संबंधित समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है। इसके अतिरिक्त पूरे महीने राहु आपके द्वादश भाव में विराजमान रहेंगे और वक्री शनि देव की दृष्टि भी आपकी राशि पर रहेगी और महीने के पूर्वार्ध में सूर्य और बुध भी केतु के साथ छठे भाव में विराजमान रहकर स्वास्थ्य समस्याओं को पीड़ित करेंगे इसलिए आपको बहुत ज्यादा सावधानी बरतनी होगी। खासतौर से पेट और बड़ी आंत से संबंधित समस्याओं के प्रति सावधानी बरतें और जल जनित बीमारियों के प्रति भी सतर्कता रखें। इसके बाद बुध 10 अक्टूबर से और सूर्य 17 अक्टूबर से आपके सप्तम भाव में प्रवेश करेंगे तो शुक्र 13 अक्टूबर से और बुध 29 अक्टूबर से आपके अष्टम भाव में आ जाएंगे। इस प्रकार सप्तम और अष्टम भाव तथा छठा भाव पीड़ित अवस्था में होने के कारण आपके लिए यह समय स्वास्थ्य के दृष्टिकोण से कुछ कमजोर रहेगा। आपकी रोग प्रतिरोधक क्षमता भी कमजोर हो सकती है इसलिए इस दौरान बहुत सावधानी रखें, खुद के प्रति लापरवाही ना बरतें और कोई भी समस्या हो तो तुरंत चिकित्सक से संपर्क करें तभी आप समस्याओं से बच पाएंगे और अपने स्वास्थ्य को बेहतर बना पाएंगे।
प्रेम व वैवाहिक
यदि आपके प्रेम संबंधों की बात की जाए तो पंचम भाव के स्वामी सूर्य महाराज बुध और केतु के साथ महीने की शुरुआत में छठे भाव में रहेंगे और उनके ऊपर मंगल और बृहस्पति की पूर्ण दृष्टि रहेगी। इसके अतिरिक्त वक्री शनि पूरे महीने आपके पंचम भाव को देखेंगे जिससे प्रेम संबंधों के लिए यह समय चुनौतीपूर्ण हो सकता है। आपको कुछ भी कड़वा बोलने से बचना चाहिए और कोई भी ऐसी बात अपने प्रियतम से ना करें जो उनको बुरी लगे। इस दौरान उन्हें निजी जीवन में कुछ समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है। ऐसे में एक अच्छे साथी की तरह उनके साथ दें और हर दुख सुख में उनके साथ खड़े नजर आयें जिससे उन्हें भी आपके प्यार पर भरोसा हो। महीने के उत्तरार्ध में जब सूर्य 16-17 अक्टूबर को तुला राशि में आपके सप्तम भाव में प्रवेश करेंगे तब समय अनुकूल रहेगा। अगर आप अपने रिश्ते को संभाल पाते हैं तो आपका आपके प्रियतम से अच्छे संबंधों का आपको लाभ होगा और आपके प्रेम विवाह की बात पक्की हो सकती है इससे घर में खुशी आएगी। यदि विवाहित जातकों की बात करें तो महीने की शुरुआत में सप्तम भाव के स्वामी शुक्र महाराज सप्तम भाव में ही विराजमान रहेंगे और द्वादश भाव में राहु तथा दूसरे भाव में देवगुरु बृहस्पति की उपस्थिति रहेगी। इससे आपके वैवाहिक जीवन में मधुरता रहेगी। आपस में प्रेम और रूमानियत के योग भी बने रहेंगे जो आपके रिश्ते को बहुत ही हल्का और अच्छा बना कर रखेंगे। आपस में प्रेम बढ़ेगा, परिवार के प्रति जिम्मेदारियां का निर्वहन भी भली प्रकार करेंगे और एक दूसरे को बराबर सम्मान देंगे। हालांकि इस दौरान आप विवाहेतर संबंधों के प्रति आकर्षित हो सकते हैं। इसके बाद 10 अक्टूबर से बुध आपके सप्तम भाव में प्रवेश करेंगे और 13 अक्टूबर से शुक्र सप्तम भाव से निकलकर अष्टम भाव में आ जाएंगे इस दौरान रिश्ते में प्रेम तो रहेगा लेकिन कुछ कहासुनी होने की स्थिति बन सकती है। फिर 17 अक्टूबर को सूर्य महाराज भी आपके सप्तम भाव में आ जाएंगे इससे रिश्ते में तनाव बढ़ेगा। जीवनसाथी की अहम भरी बातें आपके दिल को तोड़ सकती हैं। 20 अक्टूबर से मंगल कर्क राशि में चतुर्थ भाव में आकर अपनी चतुर्थ दृष्टि से आपके सप्तम भाव को देखेंगे और बुध 29 अक्टूबर को आपके अष्टम भाव में चले जाएंगे इस प्रकार सूर्य और मंगल जैसे गर्म प्रकृति के ग्रहों का प्रभाव सप्तम भाव को दूषित बनाएगा और इससे आप दोनों के बीच लड़ाई झगड़े की स्थिति बनेगी। दूसरी तरफ देवगुरु बृहस्पति 9 अक्टूबर से वक्री अवस्था में आ जाएंगे तो वह आपके रिश्ते की रक्षा करेंगे लेकिन आपको फिर भी सावधानी बरतनी चाहिए और कोई भी बड़ा निर्णय लेने से बचना चाहिए। इसी से आप अपने रिश्ते में परिपक्वता बना पाएंगे।
पारिवारिक
यह महीना पारिवारिक तौर पर ठीक-ठाक रहने की संभावना है। महीने के पूर्वार्ध में दूसरे भाव के स्वामी शुक्र महाराज सप्तम भाव में विराजमान रहेंगे और नवम भाव और द्वादश भाव के स्वामी देवगुरु बृहस्पति आपके दूसरे भाव में विराजमान रहेंगे जिससे परिवार में महिलाओं और बुजुर्गों का दबदबा रहेगा। उनके अनुसार निर्णय परिवर्तित होंगे लेकिन घर का माहौल अच्छा रहेगा। घर में किसी का जन्म हो सकता है अथवा किसी का विवाह आदि शुभ कार्य की शहनाइयां बज सकती हैं जिससे घर में बहुत अच्छा माहौल रहेगा। पूजा पाठ और शुभ कार्य होंगे, लोगों का आवागमन होता रहेगा जिससे घर में रौनक लगी रहेगी। 20 अक्टूबर से मंगल महाराज आपके चौथे भाव में अपनी नीच राशि कर्क में प्रवेश करेंगे यह समय पारिवारिक जीवन में थोड़े तनाव बढ़ा सकता है। इस दौरान पारिवारिक जीवन में तनाव बढ़ सकता है और आपकी माताजी को स्वास्थ्य कष्ट परेशान कर सकते हैं इसलिए उनके स्वास्थ्य समस्याओं के प्रति सावधान रहें। किसी भी विवाद को ज्यादा बढ़ने से रोकें क्योंकि वह बड़ा रूप लेकर परिवार की शांति को भंग कर सकता है। दूसरे भाव के स्वामी शुक्र महाराज 13 तारीख से आपके अष्टम भाव में प्रवेश करेंगे। इस दौरान परिवार को किसी संपत्ति में हाथ डालने से बचना चाहिए नहीं तो उसमें नुकसान हो सकता है। ससुराल के लोगों से आपके परिवार के लोगों का तालमेल बैठेगा और आपस में प्रेम बढ़ेगा।
उपाय
आपको मंगलवार के दिन गुड़ के लड्डू वानरों को खिलाने चाहिए।
शनिवार के दिन कच्चा कोयला बहते जल में प्रवाहित करें।
प्रतिदिन उगते हुए सूर्य को देखें और उन्हें अर्घ्य दें।
बृहस्पतिवार के दिन ब्राह्मण अथवा विद्यार्थियों को भोजन कराएं।
शनिवार के दिन कच्चा कोयला बहते जल में प्रवाहित करें।
प्रतिदिन उगते हुए सूर्य को देखें और उन्हें अर्घ्य दें।
बृहस्पतिवार के दिन ब्राह्मण अथवा विद्यार्थियों को भोजन कराएं।
वृष का मासिक राशिफल / Vrishabha Masik Rashifal in Hindi
October, 2024
सामान्य
यह महीना वृषभ राशि के जातकों के लिए अनुकूल रहने की संभावना है। आर्थिक रूप से आपको बहुत ज्यादा अनुकूल परिणाम की प्राप्ति होगी जिससे आपको बराबर आर्थिक लाभ इस महीने होते रहेंगे और आपकी आर्थिक स्थिति में अच्छा इजाफा देखने को मिलेगा लेकिन यह सब महीने के पूर्वार्ध में होता हुआ दिख रहा है। महीने के उत्तरार्ध में आमदनी के मुकाबले खर्चों की अधिकता रहने की संभावना है इसलिए आपको सावधानी रखनी चाहिए। करियर के मामले में काम का दबाव आपके ऊपर बहुत ज्यादा रहेगा इसलिए नौकरी में आप जी भरकर मेहनत करें उसका आपको सटीक परिणाम मिलेगा। व्यापार करने वाले जातकों के लिए यह महीना अच्छा है। आप अपनी योग्यता के अनुसार अपने व्यापार को आगे बढ़ाने में सफल रहेंगे। कुछ नए लोगों से आपको व्यावसायिक लाभ होने के योग बनेंगे। विद्यार्थियों को इस महीने सबसे ज्यादा चुनौतियां झेलनी पड़ सकती हैं क्योंकि आपकी पढ़ाई में बारंबार विघ्नों की उपस्थिति आपको पढ़ाई से हटा सकती है इसलिए बहुत ज्यादा एकाग्रता की आवश्यकता पड़ेगी। प्रेम संबंधों में प्रेम के साथ-साथ और भी बहुत कुछ होने वाला है इसलिए तैयार रहें। झगड़े के साथ-साथ बाहर के लोगों का हस्तक्षेप, पारिवारिक लोगों की कहासुनी आदि, बहुत सारी चीजों का सामना आपको करना पड़ सकता है। विवाहित जातकों के लिए यह महीना अनुकूल रहने की संभावना है। आपस में सामंजस्य स्थापित होगा। रिश्ते में परिपक्वता आएगी और घर में खुशियों का आगमन होगा। पारिवारिक जीवन में भी उतार-चढ़ाव तो रहेगा लेकिन फिर भी आपसी प्रेम आपको एक डोर में बांधे रखेगी। स्वास्थ्य के दृष्टिकोण से यह महीना कमजोर है। पेट से जुड़ी समस्याएं ज्यादा परेशान कर सकती हैं इसलिए अपने स्वास्थ्य का ध्यान रखें।
कार्यक्षेत्र
करियर के दृष्टिकोण से यह महीना ज्यादा मेहनत करवाएगा। दशम भाव के स्वामी शनि महाराज दशम भाव में वक्री अवस्था में पूरे महीने विराजमान रहने वाले हैं जिसकी वजह से आपको अपने कार्यक्षेत्र में बहुत ज्यादा काम का दबाव महसूस होगा। आप लगातार मेहनत करेंगे और यह मेहनत व्यर्थ तो नहीं जाएगी लेकिन अभी आपको उसका परिणाम नहीं दिखेगा। तो निराश होने की आवश्यकता नहीं है जमकर मेहनत करें आने वाले समय में उसका आपको भरपूर लाभ मिलेगा। छठे भाव में छठे भाव के स्वामी शुक्र महाराज महीने के पूर्वार्ध में विराजमान रहेंगे जो नौकरी में आपकी स्थिति को अनुकूल बनाएंगे, विरोधियों को धूल चटाएंगे और आपकी स्थिति को मजबूती प्रदान करेंगे। इसके बाद 13 अक्टूबर से शुक्र सप्तम भाव में आ जाएंगे जिससे आपको अपने कार्यक्षेत्र में अच्छे पदभार की प्राप्ति के योग बन सकते हैं। राहु महाराज एकादश भाव में पूरे महीने विराजमान रहेंगे। आपके वरिष्ठ अधिकारी आप पर नजर रखेंगे और अपने कुछ ऐसे खास विरोधियों से आप सावधान रहें जो बराबर आपको परेशान करते हैं क्योंकि उनमें से कोई चापलूसी के द्वारा आपके वरिष्ठ अधिकारियों के कान भर सकता है इसलिए कार्यक्षेत्र में आंख और कान खुले रखें। महीने के पूर्वार्ध में नौकरी में बदलाव की स्थिति भी बन सकती है। यदि आपने किसी अन्य नौकरी के लिए आवेदन किया है तो वह आपको मिल सकती है। व्यापार करने वाले जातकों की बात करें तो यह महीना आपको लाभ देगा। सप्तम भाव के स्वामी मंगल महाराज महीने के पूर्वार्ध में दूसरे भाव में रहकर व्यापार से अच्छा धन लाभ प्रदान करेंगे। एकादश भाव के राहु और प्रथम भाव में बैठे बृहस्पति की दृष्टि आपके सप्तम भाव पर रहेगी जिससे आर्थिक चुनौतियां कम होगी। व्यापार को अच्छा रास्ता दिखेगा। आपके संपर्क गणमान्य लोगों से जुड़ेंगे और व्यापार में उन्नति के द्वार खुलेंगे। मंगल 20 अक्टूबर से कर्क राशि में आपके तीसरे भाव में जाएंगे जो व्यापार के लिए नए रास्तों को खोलने का काम करेंगे। आप जोखिम उठाने की कोशिश करेंगे लेकिन दुस्साहह दिखाकर जोखिम उठाना आपके लिए नुकसानदायक साबित हो सकता है। वक्री शनि महाराज और बृहस्पति महाराज की दृष्टि पूरे महीने आपके सप्तम भाव पर रहेगी जिससे व्यावसायिक साझेदार से सामंजस्य स्थापित करके व्यापार में उन्नति के मार्ग प्रशस्त होंगे और अनेक चुनौतियों के बावजूद व्यापार सहित दिशा में उन्नति करेगा।
आर्थिक
यदि आपकी आर्थिक स्थिति को देखा जाए तो महीने का पूर्वार्ध जबरदस्त आर्थिक उन्नति दिखा रहा है। सूर्य बुध, केतु महीने की शुरुआत में आपके पंचम भाव में बैठकर एकादश भाव को देखेंगे और एकादश भाव में पूरे महीने राहु महाराज उपस्थित रहेंगे जिससे आपकी आमदनी में दिन प्रतिदिन बढ़ोतरी होती जाएगी। आर्थिक संपन्नता की स्थिति रहेगी। दूसरे भाव में द्वादश भाव के स्वामी और सप्तम भाव के स्वामी मंगल विराजमान रहकर व्यापार और बाहरी माध्यमों से धन की प्राप्ति करेंगे जिससे आपका बैंक बैलेंस भी बढ़ेगा। देवगुरु बृहस्पति प्रथम भाव में बैठकर आपको सही निर्णय लेने की क्षमता प्रदान करेंगे जिससे आपको सब मार्ग से धन प्राप्ति के योग बनेंगे। वक्री शनि महाराज पूरे महीने दशम भाव में बैठकर आपके द्वादश भाव को देखकर खर्चों में कटौती करने में मदद करेंगे जिससे महीने का पूर्वार्ध बहुत ही बढ़िया रहेगा और आप हर तरीके से आर्थिक संपन्नता प्राप्त करेंगे। इस दौरान आप शेयर बाजार में निवेश करके भी धन अर्जित कर सकते हैं। 10 अक्टूबर से बुध आपके छठे भाव में चले जाएंगे और सूर्य भी 17 अक्टूबर से छठे भाव में चले जाएंगे और वहां से वह आपके द्वादश भाव को देखेंगे तथा मंगल भी 20 अक्टूबर को आपके दूसरे भाव से निकलकर तीसरे भाव में आ जाएंगे। इस कारण से महीने के उत्तरार्ध में आपके खर्चों में बढ़ोतरी होनी शुरू होगी और आमदनी में हल्की कमी महसूस होने लगेगी इसलिए आपको चाहिए कि महीने की शुरुआत से ही अपने धन का सही से प्रबंधन करें ताकि पूरा महीना अच्छे से व्यतीत हो। वैसे आपकी आर्थिक स्थिति अच्छी रहने वाली है बस धन का सही तरीके से सदुपयोग करेंगे तो आर्थिक रूप से अच्छा जीवन व्यतीत कर पाएंगे।
स्वास्थ्य
यह महीना स्वास्थ्य के दृष्टिकोण से कुछ कमजोर दिखाई दे रहा है। बहुत सारे ग्रहों का जमावड़ा आपके पंचम भाव एकादश भाव को प्रभावित कर रहा है जिससे आपको पेट से जुड़ी समस्याएं परेशान कर सकती हैं। आपको एसिडिटी, पेट में दर्द, ऐंठन, जलन या लीवर में सूजन जैसी समस्या का सामना करना पड़ सकता है इसलिए हल्का और सुपाच्य भोजन करना आपके लिए बेहद आवश्यक होगा। ऐसे में आप स्वच्छ जल पिएँ और अपने शरीर का ध्यान रखें। किसी तरह का संक्रमण भी आपको परेशान कर सकता है इसलिए इस महीने स्वास्थ्य को लेकर बहुत ज्यादा सावधानी बरतें। 10 अक्टूबर से बुध तुला राशि में आपके छठे भाव में जाएंगे और सूर्य भी 17 अक्टूबर से आपके छठे भाव में पहुंच जाएंगे तथा 9 अक्टूबर से बृहस्पति आपकी राशि में वक्री अवस्था में आ जाएंगे। यह स्थितियां भी अधिक अनुकूल नहीं हैं इसलिए स्वास्थ्य पर पूरे महीने ध्यान देने की आवश्यकता पड़ेगी।
प्रेम व वैवाहिक
यदि प्रेम संबंधों की बात करें तो धूप छांव की स्थिति रहने वाली है। पंचम भाव में महीने की शुरुआत में सूर्य, बुध और केतु उपस्थित रहेंगे उस पर मंगल की दृष्टि भी होगी और देवगुरु बृहस्पति भी उस पर अपनी दृष्टि रखेंगे जिससे प्रेम संबंधों में प्रेम का भाव तो रहेगा लेकिन बहुत सारे ड्रामे जैसी स्थिति बन सकती है। कभी आपके प्रियतम आपको परेशान करेंगे और कभी आप मानसिक रूप से परेशानी महसूस करेंगे। कभी आपको लगेगा कि आपके रिश्ते में कोई बाहर का व्यक्ति परेशानियां खड़ी करने की कोशिश कर रहा है और कभी आपके खुद अपने ही आपके रिश्ते को लेकर आपसे सौ प्रश्न पूछ सकते हैं। ऐसी स्थिति में आप कुछ समय के लिए खुद को परेशानियों से घिरा हुआ महसूस कर सकते हैं और इसी वजह से आपके प्यार का भाव कम हो सकता है लेकिन आपको बिल्कुल भी घबराने की आवश्यकता नहीं है। थोड़ा धैर्य रखने की आवश्यकता है।
महीने का उत्तरार्ध अपेक्षाकृत अनुकूल रहेगा क्योंकि बुध और सूर्य दोनों ही ग्रह पंचम भाव से निकलकर छठे भाव में चले जाएंगे और देवगुरु बृहस्पति की अमृत जैसी दृष्टि आपके पंचम भाव को संभालेगी। यदि आप अपने प्रियतम से सच्चा प्रेम करते हैं तो अपने व्यवहार को नियंत्रित रखें और उनकी की गई बातों को भी नजरअंदाज करने की कोशिश करें। किसी भी अच्छे रिश्ते को संभालने के लिए सबसे बढ़िया तरीका है थोड़ा समय बीत जाने दें। महीने के उत्तरार्ध में आप स्वयं महसूस करेंगे कि वह कहीं ना कहीं आपको परख रहे थे और आपका रिश्ता मजबूत होगा। आप चाहे तो उनसे प्रेम विवाह की बात भी कर सकते हैं और संभावना पूरी है कि वह आपका प्रस्ताव को स्वीकार कर लेंगे और आपके प्रेम विवाह के योग बन जाएंगे।
वैवाहिक जीवन व्यतीत कर रहे जातकों के लिए यह महीना अच्छा रहने की संभावना है। देवगुरु बृहस्पति पूरे महीने अपनी सप्तम दृष्टि आपके सप्तम भाव पर डाले रखेंगे और आपके विवाह की रक्षा करेंगे। हालांकि वक्री शनि की दृष्टि भी आपके सप्तम भाव पर होगी जिससे आपको अपने वैवाहिक जीवन को और बेहतर बनाने की दिशा में लगातार प्रयासरत रहना होगा। आपको अपनी कमियों को समझना होगा और उन्हें स्वीकारते हुए अपने जीवन साथी का एक अटूट साथी बनने की कोशिश करनी होगी। महीने के उत्तरार्ध में जब मंगल महाराज कर्क राशि में आपके तीसरे भाव में आ जाएंगे तब जीवनसाथी से किसी बात को लेकर अहम का टकराव संभव है। इन परिस्थितियों को टालने की कोशिश करेंगे तो आपका विवाह अच्छे से चलेगा और आपसी प्रेम बना रहेगा। इस महीने आपको आपके रिश्ते में कोई खुशखबरी मिल सकती है या संतान जन्म से संबंधित कोई खुशखबरी से घर में खुशियां आ सकती हैं।
महीने का उत्तरार्ध अपेक्षाकृत अनुकूल रहेगा क्योंकि बुध और सूर्य दोनों ही ग्रह पंचम भाव से निकलकर छठे भाव में चले जाएंगे और देवगुरु बृहस्पति की अमृत जैसी दृष्टि आपके पंचम भाव को संभालेगी। यदि आप अपने प्रियतम से सच्चा प्रेम करते हैं तो अपने व्यवहार को नियंत्रित रखें और उनकी की गई बातों को भी नजरअंदाज करने की कोशिश करें। किसी भी अच्छे रिश्ते को संभालने के लिए सबसे बढ़िया तरीका है थोड़ा समय बीत जाने दें। महीने के उत्तरार्ध में आप स्वयं महसूस करेंगे कि वह कहीं ना कहीं आपको परख रहे थे और आपका रिश्ता मजबूत होगा। आप चाहे तो उनसे प्रेम विवाह की बात भी कर सकते हैं और संभावना पूरी है कि वह आपका प्रस्ताव को स्वीकार कर लेंगे और आपके प्रेम विवाह के योग बन जाएंगे।
वैवाहिक जीवन व्यतीत कर रहे जातकों के लिए यह महीना अच्छा रहने की संभावना है। देवगुरु बृहस्पति पूरे महीने अपनी सप्तम दृष्टि आपके सप्तम भाव पर डाले रखेंगे और आपके विवाह की रक्षा करेंगे। हालांकि वक्री शनि की दृष्टि भी आपके सप्तम भाव पर होगी जिससे आपको अपने वैवाहिक जीवन को और बेहतर बनाने की दिशा में लगातार प्रयासरत रहना होगा। आपको अपनी कमियों को समझना होगा और उन्हें स्वीकारते हुए अपने जीवन साथी का एक अटूट साथी बनने की कोशिश करनी होगी। महीने के उत्तरार्ध में जब मंगल महाराज कर्क राशि में आपके तीसरे भाव में आ जाएंगे तब जीवनसाथी से किसी बात को लेकर अहम का टकराव संभव है। इन परिस्थितियों को टालने की कोशिश करेंगे तो आपका विवाह अच्छे से चलेगा और आपसी प्रेम बना रहेगा। इस महीने आपको आपके रिश्ते में कोई खुशखबरी मिल सकती है या संतान जन्म से संबंधित कोई खुशखबरी से घर में खुशियां आ सकती हैं।
पारिवारिक
यह महीना पारिवारिक तौर पर उथल पुथल से भरा रहने वाला है। महीने की शुरुआत में मंगल महाराज आपके दूसरे भाव में विराजमान रहेंगे जिससे वाणी में कड़वाहट रहेगी और कुटुंब के लोगों में आपस में प्रेम की कमी महसूस हो सकती है। इस वजह से पारिवारिक जीवन में तनाव बढ़ सकता है। इसके बाद 20 अक्टूबर से मंगल तीसरे भाव में चले जाएंगे तब इन परिस्थितियों में कमी आएगी और घर का माहौल सुधरेगा और चले आ रहे विवादों में शांति होगी। चौथे भाव के स्वामी सूर्य महाराज महीने के पूर्वार्ध में पंचम भाव में बुध और केतु के साथ विराजमान रहेंगे और उन पर देवगुरु बृहस्पति की दृष्टि रहेगी तथा 17 अक्टूबर से वह आपके छठे भाव में चले जाएंगे तथा वक्री शनि की दृष्टि पूरे महीने आपके चौथे भाव पर बनी रहने वाली है इस कारण से पारिवारिक जीवन में उतार-चढ़ाव आते रहेंगे और घर का माहौल कभी अच्छा रहेगा तो कभी उसमें झगड़े की स्थिति बन सकती है। आपको सावधानी से घर की स्थितियों पर ध्यान देना है नहीं तो स्थितियां हाथ से निकल सकती हैं। महीने का पूर्वार्ध भाई बहनों से प्रेम दर्शा रहा है लेकिन उत्तरार्ध में उन्हें खुद चुनौतियों का सामना करना पड़ेगा। ऐसी स्थिति में आपको उनके साथ खड़े रहकर उनकी मदद करनी चाहिए।
उपाय
महीने के पूर्वार्ध में उत्तम गुणवत्ता का ओपल रत्न चांदी की मुद्रिका में जड़वा कर अपनी अनामिका उंगली में शुक्ल पक्ष के शुक्रवार को धारण करें।
आपको प्रतिदिन एक निश्चित संख्या में श्री महालक्ष्मी मंत्र का जाप करना चाहिए।
बुधवार के दिन गौ माता को अपने दोनों हाथों से साबुत मूंग खिलाना उत्तम रहेगा।
गुरुवार के दिन लाल गाय को चने की दाल खिलाएं।
आपको प्रतिदिन एक निश्चित संख्या में श्री महालक्ष्मी मंत्र का जाप करना चाहिए।
बुधवार के दिन गौ माता को अपने दोनों हाथों से साबुत मूंग खिलाना उत्तम रहेगा।
गुरुवार के दिन लाल गाय को चने की दाल खिलाएं।
मिथुन का मासिक राशिफल / Mithun Masik Rashifal in Hindi
October, 2024
सामान्य
यह महीना आपके लिए उतार-चढ़ाव से भरा महीना रहने की संभावना है। आपको कई मामलों में सावधानी से गुजरना होगा। पारिवारिक मसलों पर ध्यान देना बेहद आवश्यक होगा क्योंकि पारिवारिक जीवन में उथल-पुथल मची रहने की संभावना है। जहां तक आर्थिक स्थिति का सवाल है तो वह माध्यम रूप से आपको धन प्राप्ति के योग दिखाती है। महीने के पूर्वार्ध में समस्याएं अधिक रहेंगी। उत्तरार्ध में आमदनी में बढ़ोतरी हो सकती है। कोई ना कोई खर्चा आपका लगा रहने की संभावना है। लंबी यात्राएं थका देने वाली होगी। नौकरी में कठिन चुनौतियां आपका स्वागत करेंगी तो व्यापार करने वाले जातकों को विदेशी माध्यमों से अच्छा लाभ मिलने की संभावना है। विद्यार्थी वर्ग के लिए महीने का पूर्वार्ध अच्छा रहेगा और उसमें आपको अपनी शिक्षा में अच्छी सफलता मिल सकती है। प्रेम प्रसंग के लिए भी महीने का पूर्वार्ध ज्यादा अनुकूल है। रिश्ते में प्रगाढ़ता आएगी। वैवाहिक जीवन व्यतीत कर रहे जातकों को कुछ चुनौतियों का सामना करना पड़ सकता है। स्वास्थ्य को लेकर भी आपको समस्याओं का सामना करने के लिए तैयार रहना चाहिए लेकिन आपका आत्म बल इतना कमजोर नहीं है। आप हर समस्या का डटकर सामना करेंगे जिससे बहुत सारी चुनौतियों से आसानी से बाहर भी निकल आएंगे।
कार्यक्षेत्र
करियर के दृष्टिकोण से यह महीना उतार-चढ़ाव से भरा रहने की संभावना है। पूरे महीने दशम भाव में राहु महाराज विराजमान रहेंगे और दशम भाव के स्वामी बृहस्पति महाराज द्वादश भाव में विराजमान रहेंगे जिससे कार्यक्षेत्र में आपको व्यस्तता का सामना करना पड़ेगा। आपकी भागदौड़ बनी रहेगी और एक पल का भी आराम नहीं मिलेगा। सूर्य बुध की दृष्टि भी महीने की शुरुआत से आपके दशम भाव में रहने वाली है जिससे कार्यक्षेत्र में आपको फूँक-फूँक कर कदम रखना पड़ेगा और किसी से भी व्यर्थ उलझने से बचना होगा नहीं तो चुनौतियां आपके लिए तैयार रहेगी। छठे भाव के स्वामी मंगल महाराज महीने के पूर्वार्ध में आपकी ही राशि में विराजमान रहेंगे जिससे आप खुद झगड़ा करने की प्रवृत्ति महसूस कर सकते हैं। इससे जहां तक संभव हो बचने की कोशिश करें नहीं तो आपको परेशानियों होगी।
20 अक्टूबर के बाद से मंगल दूसरे भाव में चले जाएंगे तब इन स्थितियों में कुछ सुधार आएगा लेकिन आपकी वाणी में कड़वाहट बढ़ेगी इसलिए कार्यक्षेत्र में सबसे प्रेम पूर्वक बोलने की कोशिश करें और माहौल को हल्का बनाए रखें इसी से आपको लाभ होगा। व्यापार करने वाले जातकों के लिए यह महीना उतार-चढ़ाव से भरा रहेगा। सप्तम भाव के स्वामी बृहस्पति महाराज पूरे महीने द्वादश भाव में बैठे रहेंगे जिससे आपको विदेशी माध्यमों से अपने व्यापार में कुछ नए रास्ते दिखाई देने लगेंगे और उससे आपको लाभ होगा। दूर देश और दूर राज्यों से आपको अच्छा लाभ होने की उम्मीद करनी चाहिए। व्यवसाय के लिए आपको कुछ नए तरीकों को अपनाने की आवश्यकता होगी। इसके अतिरिक्त कुछ नए युवा लोगों को अपने काम में मौका देना होगा तब जाकर आपको अच्छी सफलता मिलने की कामना करनी चाहिए।
20 अक्टूबर के बाद से मंगल दूसरे भाव में चले जाएंगे तब इन स्थितियों में कुछ सुधार आएगा लेकिन आपकी वाणी में कड़वाहट बढ़ेगी इसलिए कार्यक्षेत्र में सबसे प्रेम पूर्वक बोलने की कोशिश करें और माहौल को हल्का बनाए रखें इसी से आपको लाभ होगा। व्यापार करने वाले जातकों के लिए यह महीना उतार-चढ़ाव से भरा रहेगा। सप्तम भाव के स्वामी बृहस्पति महाराज पूरे महीने द्वादश भाव में बैठे रहेंगे जिससे आपको विदेशी माध्यमों से अपने व्यापार में कुछ नए रास्ते दिखाई देने लगेंगे और उससे आपको लाभ होगा। दूर देश और दूर राज्यों से आपको अच्छा लाभ होने की उम्मीद करनी चाहिए। व्यवसाय के लिए आपको कुछ नए तरीकों को अपनाने की आवश्यकता होगी। इसके अतिरिक्त कुछ नए युवा लोगों को अपने काम में मौका देना होगा तब जाकर आपको अच्छी सफलता मिलने की कामना करनी चाहिए।
आर्थिक
यदि आपकी आर्थिक स्थिति को देखा जाए तो महीने की शुरुआत में शुक्र महाराज आपके पंचम भाव में बैठकर एकादश भाव को पूर्ण सप्तम दृष्टि से देखेंगे और वक्री शनि महाराज नवम भाव में बैठकर भी एकादश भाव को देखेंगे इससे आपकी आर्थिक स्थिति में मजबूती बनी रहेगी। आपको धन प्राप्ति होती रहेगी लेकिन बृहस्पति महाराज के द्वादश भाव में विराजमान रहने से खर्च भी लगातार बने रहेंगे और 9 अक्टूबर से बृहस्पति के वक्री हो जाने के बाद खर्चों में अप्रत्याशित बढ़ोतरी के संकेत मिलते हैं इसलिए आपको इस महीने खर्चों पर विशेष रूप से ध्यान देना होगा।
उसके बाद 13 अक्टूबर से शुक्र आपके छठे भाव में जाकर खर्चों को और ज्यादा बढ़ा देंगे लेकिन बुध और सूर्य पंचम भाव में जाकर आपके द्वादश भाव को देखकर आपकी आमदनी को बढ़ाने की कोशिश करेंगे। एकादश भाव के स्वामी मंगल महाराज 20 अक्टूबर से दूसरे भाव में जाकर धन संचय करने में कुछ हद तक मदद कर सकते हैं इसलिए आपको अपने धन को सही तरीके से इस्तेमाल करना चाहिए ताकि आर्थिक चुनौतियों में कमी रह सके। यदि आप कोई व्यापार करते हैं तो विदेशी माध्यम से आपको धन लाभ हो सकता है जिससे आपकी आर्थिक स्थिति में अच्छा सुधार देखने को मिलेगा।
उसके बाद 13 अक्टूबर से शुक्र आपके छठे भाव में जाकर खर्चों को और ज्यादा बढ़ा देंगे लेकिन बुध और सूर्य पंचम भाव में जाकर आपके द्वादश भाव को देखकर आपकी आमदनी को बढ़ाने की कोशिश करेंगे। एकादश भाव के स्वामी मंगल महाराज 20 अक्टूबर से दूसरे भाव में जाकर धन संचय करने में कुछ हद तक मदद कर सकते हैं इसलिए आपको अपने धन को सही तरीके से इस्तेमाल करना चाहिए ताकि आर्थिक चुनौतियों में कमी रह सके। यदि आप कोई व्यापार करते हैं तो विदेशी माध्यम से आपको धन लाभ हो सकता है जिससे आपकी आर्थिक स्थिति में अच्छा सुधार देखने को मिलेगा।
स्वास्थ्य
यह महीना स्वास्थ्य के दृष्टिकोण से उतार चढ़ाव से भरा रहने की संभावना है। पूरे महीने बृहस्पति महाराज आपके द्वादश भाव में विराजमान रहेंगे और 9 अक्टूबर से वक्री भी हो जाएंगे। महीने की शुरुआत में मंगल महाराज आपके प्रथम भाव में रहकर आपके स्वास्थ्य को पीड़ित बनाएंगे तो महीने की शुरुआत में ही सूर्य, बुध और केतु की युति आपके चौथे भाव में होगी और राहु दशम भाव में होंगे जिससे परिवार के सदस्यों के साथ-साथ आपको भी शारीरिक चुनौतियों का सामना करना पड़ सकता है। आपको किसी तरह का संक्रमण होने की संभावना बन सकती है। छाती में दर्द, जकड़न और संक्रमण तथा पेट में गड़बड़ी की समस्याएं आपको विशेष रूप से प्रभावित कर सकती हैं। विषाणु जनित समस्याएं ज्यादा परेशान करने की स्थिति बन रही है इसलिए आपको अपने स्वास्थ्य का ध्यान रखना चाहिए।
शुक्र 13 अक्टूबर को आपके छठे भाव में वृश्चिक राशि में प्रवेश करेंगे और वहां से उनके दृष्टि वक्री अवस्था में बैठे देवगुरु बृहस्पति पर द्वादश भाव में पड़ेगी। इस स्थिति में जो मधुमेह के मरीज हैं उनकी समस्याओं में बढ़ोतरी हो सकती है और अन्य लोगों को स्वास्थ्य से संबंधित समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है इसलिए सतर्क और सजग रहें तथा आवश्यक उपचार करें ताकि कोई बड़ी समस्या आपको परेशान ना कर सके। अपने खान-पान और रहन-सहन में अच्छी आदतों को अपनाने तथा मास्क लगाकर प्रदूषण से बचने का प्रयास करें।
शुक्र 13 अक्टूबर को आपके छठे भाव में वृश्चिक राशि में प्रवेश करेंगे और वहां से उनके दृष्टि वक्री अवस्था में बैठे देवगुरु बृहस्पति पर द्वादश भाव में पड़ेगी। इस स्थिति में जो मधुमेह के मरीज हैं उनकी समस्याओं में बढ़ोतरी हो सकती है और अन्य लोगों को स्वास्थ्य से संबंधित समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है इसलिए सतर्क और सजग रहें तथा आवश्यक उपचार करें ताकि कोई बड़ी समस्या आपको परेशान ना कर सके। अपने खान-पान और रहन-सहन में अच्छी आदतों को अपनाने तथा मास्क लगाकर प्रदूषण से बचने का प्रयास करें।
प्रेम व वैवाहिक
यदि आप किसी प्रेम संबंध में हैं तो महीने की शुरुआत बहुत ही खूबसूरत रहने वाली है। आप पंचम भाव के स्वामी शुक्र महाराज पंचम भाव में विराजमान रहकर आपके प्रेम संबंधों को प्रगाढ़ बनाएंगे, उनमें रोमांस का तड़का लगाएंगे और आपको रूमानियत से भर देंगे। आप दोनों के बीच अंतरंग संबंधों की बढ़ोतरी होगी। आप अपने प्रेम संबंध को पूरी तरह से स्वीकार करेंगे और आपके प्रियतम भी आपको अपना मान लेंगे इससे आपके बीच अच्छी बॉन्डिंग भी हो जाएगी और आपका प्रेम जीवन खुशनुमा हो जाएगा।
10 अक्टूबर से बुध भी पंचम भाव में आकर इस प्रेम को और बढ़ाएंगे लेकिन 17 अक्टूबर से सूर्य के पंचम भाव में आ जाने से अहम का टकराव बढ़ सकता है। फिर 13 अक्टूबर से शुक्र भी आपके छठे भाव में चले जाएंगे जिससे कुछ तनाव बढ़ने की स्थिति रहेगी और 20 अक्टूबर से मंगल कर्क राशि में दूसरे भाव में जाकर वहां से चतुर्थ दृष्टि पंचम भाव पर डालेंगे जिससे अहम का टकराव, कहासुनी, लड़ाई झगड़े की स्थिति बन सकती है। इस प्रकार कहा जाए तो महीने का पूर्वार्ध आपका प्रेम संबंध को मजबूत बनाएगा उसी के सहारे आपको पूरा महीना बिताना चाहिए। लेकिन महीने का उत्तरार्ध कुछ कमजोर रह सकता है जिस पर आपको ध्यान देने की आवश्यकता होगी।
यदि विवाहित जातकों की बात की जाए तो महीने की शुरुआत में मंगल प्रथम भाव में बैठकर आपके सप्तम भाव को पूर्ण सप्तम दृष्टि से देखकर आप और आपके जीवनसाथी के बीच वैचारिक मतभेद को बढ़ा सकते हैं। सप्तम भाव के स्वामी देवगुरु बृहस्पति महीने की शुरुआत से अंत तक आपके द्वादश भाव में बने रहेंगे। वह स्थिति भी आपके वैवाहिक जीवन के लिए अनुकूल नहीं कहीं जा सकती है और 9 अक्टूबर से बृहस्पति महाराज वक्री अवस्था में भी आ जाएंगे इसलिए वैवाहिक जीवन को संभालना और एक दूसरे से प्रेम पूर्वक व्यवहार करना आपके लिए आवश्यक होगा जो की मंगल के कर्क राशि में 20 अक्टूबर को जानने के बाद आपके लिए मुश्किल हो जाएगा इसलिए यदि आप अपने रिश्ते को संभालना चाहते हैं तो संयम और संतुलन से आपको इस समय को साधने की कोशिश करनी होगी। अन्यथा समस्याएं बढ़ सकती हैं।
10 अक्टूबर से बुध भी पंचम भाव में आकर इस प्रेम को और बढ़ाएंगे लेकिन 17 अक्टूबर से सूर्य के पंचम भाव में आ जाने से अहम का टकराव बढ़ सकता है। फिर 13 अक्टूबर से शुक्र भी आपके छठे भाव में चले जाएंगे जिससे कुछ तनाव बढ़ने की स्थिति रहेगी और 20 अक्टूबर से मंगल कर्क राशि में दूसरे भाव में जाकर वहां से चतुर्थ दृष्टि पंचम भाव पर डालेंगे जिससे अहम का टकराव, कहासुनी, लड़ाई झगड़े की स्थिति बन सकती है। इस प्रकार कहा जाए तो महीने का पूर्वार्ध आपका प्रेम संबंध को मजबूत बनाएगा उसी के सहारे आपको पूरा महीना बिताना चाहिए। लेकिन महीने का उत्तरार्ध कुछ कमजोर रह सकता है जिस पर आपको ध्यान देने की आवश्यकता होगी।
यदि विवाहित जातकों की बात की जाए तो महीने की शुरुआत में मंगल प्रथम भाव में बैठकर आपके सप्तम भाव को पूर्ण सप्तम दृष्टि से देखकर आप और आपके जीवनसाथी के बीच वैचारिक मतभेद को बढ़ा सकते हैं। सप्तम भाव के स्वामी देवगुरु बृहस्पति महीने की शुरुआत से अंत तक आपके द्वादश भाव में बने रहेंगे। वह स्थिति भी आपके वैवाहिक जीवन के लिए अनुकूल नहीं कहीं जा सकती है और 9 अक्टूबर से बृहस्पति महाराज वक्री अवस्था में भी आ जाएंगे इसलिए वैवाहिक जीवन को संभालना और एक दूसरे से प्रेम पूर्वक व्यवहार करना आपके लिए आवश्यक होगा जो की मंगल के कर्क राशि में 20 अक्टूबर को जानने के बाद आपके लिए मुश्किल हो जाएगा इसलिए यदि आप अपने रिश्ते को संभालना चाहते हैं तो संयम और संतुलन से आपको इस समय को साधने की कोशिश करनी होगी। अन्यथा समस्याएं बढ़ सकती हैं।
पारिवारिक
यह महीना पारिवारिक तौर पर उतार-चढ़ाव से भरा रहने वाला है। महीने की शुरुआत में चौथे भाव में सूर्य, केतु और बुध विराजमान होंगे और दशम भाव में राहु की उपस्थिति होगी। इसके अतिरिक्त मंगल की दृष्टि भी चतुर्थ भाव पर होगी जिससे पारिवारिक जीवन में तनाव और टकराव की स्थितियां हो सकती हैं। परिवार के बुजुर्गों विशेष रूप से आपके माता-पिता को स्वास्थ्य समस्याएं पीड़ित कर सकती हैं। द्वादश भाव में बैठे देवगुरु बृहस्पति की दृष्टि चतुर्थ भाव पर होने से कुछ समस्याओं में कमी रहेगी लेकिन वह भी 9 अक्टूबर से वक्री हो जाएंगे तो आपको अपने परिवार के सदस्यों का और उनके स्वास्थ्य का ध्यान देना होगा।
घर की अशांति को दूर करने के लिए आपको हर संभव प्रयास करने की आवश्यकता पड़ेगी। 10 अक्टूबर से बुध तुला राशि में आपके पंचम भाव में जाएंगे और सूर्य भी 17 अक्टूबर से तुला राशि में चले जाएंगे इससे कुछ हद तक आपको पारिवारिक संबंधों में तनाव में कमी महसूस होगी। लेकिन 20 अक्टूबर से मंगल कर्क राशि में आपके दूसरे भाव में जाएंगे जिससे आपकी वाणी में कड़वाहट बढ़ेगी और कुटुंब के लोगों से कहासुनी और तनाव बढ़ सकता है इसलिए इस पूरे महीने आपको पारिवारिक जीवन पर विशेष रूप से ध्यान केंद्रित करना होगा।
जहां तक आपके भाई बहनों का सवाल है वह आपके साथ सहयोग करेंगे और आपकी हर संभव सहायता करेंगे। एक अच्छे भाई-बहन के रूप में वे आपके हम साथी और हमराही बनेंगे और आपको हर चुनौती से बाहर निकालने में मदद करेंगे।
घर की अशांति को दूर करने के लिए आपको हर संभव प्रयास करने की आवश्यकता पड़ेगी। 10 अक्टूबर से बुध तुला राशि में आपके पंचम भाव में जाएंगे और सूर्य भी 17 अक्टूबर से तुला राशि में चले जाएंगे इससे कुछ हद तक आपको पारिवारिक संबंधों में तनाव में कमी महसूस होगी। लेकिन 20 अक्टूबर से मंगल कर्क राशि में आपके दूसरे भाव में जाएंगे जिससे आपकी वाणी में कड़वाहट बढ़ेगी और कुटुंब के लोगों से कहासुनी और तनाव बढ़ सकता है इसलिए इस पूरे महीने आपको पारिवारिक जीवन पर विशेष रूप से ध्यान केंद्रित करना होगा।
जहां तक आपके भाई बहनों का सवाल है वह आपके साथ सहयोग करेंगे और आपकी हर संभव सहायता करेंगे। एक अच्छे भाई-बहन के रूप में वे आपके हम साथी और हमराही बनेंगे और आपको हर चुनौती से बाहर निकालने में मदद करेंगे।
उपाय
आपको श्री विष्णु सहस्रनाम स्तोत्र का प्रतिदिन पाठ करना चाहिए।
यदि आप जीवन में तरक्की प्राप्त नहीं कर पा रहे हैं तो आपको किन्नरों से आशीर्वाद लेना चाहिए।
शनिवार के दिन शनि मंदिर जाकर साफ सफाई का काम करें।
शुक्रवार के दिन स्फटिक की माला से श्री महालक्ष्मी मंत्र का जाप करना आपको आर्थिक चुनौतियों से बाहर निकलने में मददगार बनेगा।
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शनिवार के दिन शनि मंदिर जाकर साफ सफाई का काम करें।
शुक्रवार के दिन स्फटिक की माला से श्री महालक्ष्मी मंत्र का जाप करना आपको आर्थिक चुनौतियों से बाहर निकलने में मददगार बनेगा।
कर्क का मासिक राशिफल / Karka Masik Rashifal in Hindi
October, 2024
सामान्य
यह महीना कर्क राशि के जातकों के लिए मध्य रूप से फलदायक रहने की संभावना है। जहां तक आपके करियर का प्रश्न है तो आपको नौकरी में कुछ बाधाओं का सामना करना पड़ेगा और इसके लिए आपके साथ काम करने वाले सहकर्मियों का रवैया और उनका आपके प्रति भाव महत्वपूर्ण रहेगा क्योंकि वह आपके विरुद्ध जा सकते हैं और आपको परेशान करने में उनकी महत्वपूर्ण भूमिका हो सकती है। हालांकि सबके बावजूद आपका प्रदर्शन अच्छा होने से और उत्कृष्ट होने के कारण आपके वरिष्ठ अधिकारियों का सहयोग आपको मिलेगा जिससे आपकी स्थिति अच्छी हो जाएगी।
व्यापार करने वाले जातकों को उतार-चढ़ाव का सामना करना पड़ेगा। आपके कुछ निर्णय गलत साबित हो सकते हैं जो आपको परेशानी देंगे लेकिन कुछ पुराने निर्णय अचानक से आपको अच्छा लाभ प्रदान कर सकते हैं। आर्थिक रूप से खर्चे तो रहेंगे लेकिन आपकी आमदनी में भी अच्छी बढ़ोतरी देखने को मिलेगी। पारिवारिक जीवन में सुख और शांति बनी रहेगी। हालांकि भाई बहनों को कुछ समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है। प्रेम संबंधों के लिहाज से यह समय अनुकूल रहेगा और आपका प्रेम पुष्पित और पल्लवित होगा।
आपका प्रेम विवाह होने के योग भी बन सकते हैं जबकि वैवाहिक जीवन बिता रहे जातकों को ससुराल के लोगों के कारण कुछ तनाव महसूस हो सकता है। स्वास्थ्य से संबंधित समस्याओं पर ध्यान देना आवश्यक होगा और किसी भी समस्या को नजरअंदाज करने से बचना होगा। विद्यार्थियों के लिए यह महीना अनुकूल रहेगा। विदेश जाकर पढ़ने में भी सफलता मिल सकती है।
व्यापार करने वाले जातकों को उतार-चढ़ाव का सामना करना पड़ेगा। आपके कुछ निर्णय गलत साबित हो सकते हैं जो आपको परेशानी देंगे लेकिन कुछ पुराने निर्णय अचानक से आपको अच्छा लाभ प्रदान कर सकते हैं। आर्थिक रूप से खर्चे तो रहेंगे लेकिन आपकी आमदनी में भी अच्छी बढ़ोतरी देखने को मिलेगी। पारिवारिक जीवन में सुख और शांति बनी रहेगी। हालांकि भाई बहनों को कुछ समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है। प्रेम संबंधों के लिहाज से यह समय अनुकूल रहेगा और आपका प्रेम पुष्पित और पल्लवित होगा।
आपका प्रेम विवाह होने के योग भी बन सकते हैं जबकि वैवाहिक जीवन बिता रहे जातकों को ससुराल के लोगों के कारण कुछ तनाव महसूस हो सकता है। स्वास्थ्य से संबंधित समस्याओं पर ध्यान देना आवश्यक होगा और किसी भी समस्या को नजरअंदाज करने से बचना होगा। विद्यार्थियों के लिए यह महीना अनुकूल रहेगा। विदेश जाकर पढ़ने में भी सफलता मिल सकती है।
कार्यक्षेत्र
करियर के दृष्टिकोण से यह महीना उतार-चढ़ाव से भरा रहने की संभावना है। दशम भाव के स्वामी मंगल महाराज महीने की शुरुआत में आपके द्वादश भाव में रहेंगे जिससे कार्यक्षेत्र से संबंधित भाग दौड़ लगी रहेगी। आपको एक शहर से दूसरे शहर, एक राज्य से दूसरे राज्य, या एक देश से दूसरे देश जाना पड़ सकता है। हालांकि यह भागदौड़ आपको आने वाले समय में अच्छा प्रतिफल प्रदान करेगी। आपके साथ काम करने वाले सहयोगियों का रवैया आपके प्रति कुछ अनिश्चित सा रहेगा। वह मुंह पर तो आपके मित्र बनेंगे लेकिन पीछे आपकी जड़ खोदने की कोशिश करेंगे और आपको परेशानियों में डालने में उनका महत्वपूर्ण योगदान रहेगा इसलिए उनसे अपने मन की ज्यादा बातों को साझा न करें और अपने काम पर ज्यादा ध्यान दें।
छठे भाव के स्वामी देवगुरु बृहस्पति महीने भर आपके एकादश भाव में रहेंगे और 9 अक्टूबर से वक्री अवस्था में भी आ जाएंगे इससे आपको यह फायदा होगा कि आपका प्रदर्शन सर्वोपरि रहेगा और आप अपने काम को और बेहतर से बेहतर बनते जाएंगे जिससे वरिष्ठ अधिकारियों का सानिध्य और उनकी कृपा आपको प्राप्त होगी और नौकरी में अच्छी पदोन्नति के योग बन सकते हैं। हालांकि अष्टम भाव में बैठे वक्री शनि महाराज की दृष्टि भी दशम भाव पर होने से अचानक से कुछ चुनौतियां आपके सामने आएंगी लेकिन आप अपनी कार्यकुशलता से उन्हें संभालने में कामयाब हो सकते हैं और इस प्रकार यह महीना आपको सफलता देगा।
महीने का उत्तरार्ध अपेक्षाकृत अधिक अनुकूल रहने की संभावना है। शुक्र महाराज की दृष्टि महीने की शुरुआत में दशम भाव पर रहेगी जिससे आपको खुद को हल्का महसूस करके अच्छा काम करने में सफलता मिलेगी। व्यापार करने वाले जातकों को चुनौतियों का सामना करना पड़ सकता है। आप कुछ नए निर्णय लेंगे जो आपके विरुद्ध जा सकते हैं जिससे आपको निराशा हाथ लग सकती है लेकिन आपने पूर्व में कुछ ऐसे निर्णय लिए थे जिनका प्रतिफल आपको इस समय में मिलेगा और उससे व्यापार में लाभ के योग बनेंगे। यह समय आपको अच्छी सफलता देगा।
20 अक्टूबर से मंगल महाराज आपकी ही राशि में प्रवेश करके सप्तम भाव पर पूर्ण दृष्टि डालेंगे जिससे आपको अपनी व्यावसायिक साझेदारी से थोड़ा सावधानी से पेश आना होगा। आप गर्मी दिखाने के बजाय नरमी से पेश आएंगे तो सब कुछ अच्छा रहेगा और व्यापार भी उन्नति करेगा।
छठे भाव के स्वामी देवगुरु बृहस्पति महीने भर आपके एकादश भाव में रहेंगे और 9 अक्टूबर से वक्री अवस्था में भी आ जाएंगे इससे आपको यह फायदा होगा कि आपका प्रदर्शन सर्वोपरि रहेगा और आप अपने काम को और बेहतर से बेहतर बनते जाएंगे जिससे वरिष्ठ अधिकारियों का सानिध्य और उनकी कृपा आपको प्राप्त होगी और नौकरी में अच्छी पदोन्नति के योग बन सकते हैं। हालांकि अष्टम भाव में बैठे वक्री शनि महाराज की दृष्टि भी दशम भाव पर होने से अचानक से कुछ चुनौतियां आपके सामने आएंगी लेकिन आप अपनी कार्यकुशलता से उन्हें संभालने में कामयाब हो सकते हैं और इस प्रकार यह महीना आपको सफलता देगा।
महीने का उत्तरार्ध अपेक्षाकृत अधिक अनुकूल रहने की संभावना है। शुक्र महाराज की दृष्टि महीने की शुरुआत में दशम भाव पर रहेगी जिससे आपको खुद को हल्का महसूस करके अच्छा काम करने में सफलता मिलेगी। व्यापार करने वाले जातकों को चुनौतियों का सामना करना पड़ सकता है। आप कुछ नए निर्णय लेंगे जो आपके विरुद्ध जा सकते हैं जिससे आपको निराशा हाथ लग सकती है लेकिन आपने पूर्व में कुछ ऐसे निर्णय लिए थे जिनका प्रतिफल आपको इस समय में मिलेगा और उससे व्यापार में लाभ के योग बनेंगे। यह समय आपको अच्छी सफलता देगा।
20 अक्टूबर से मंगल महाराज आपकी ही राशि में प्रवेश करके सप्तम भाव पर पूर्ण दृष्टि डालेंगे जिससे आपको अपनी व्यावसायिक साझेदारी से थोड़ा सावधानी से पेश आना होगा। आप गर्मी दिखाने के बजाय नरमी से पेश आएंगे तो सब कुछ अच्छा रहेगा और व्यापार भी उन्नति करेगा।
आर्थिक
यदि आपकी आर्थिक स्थिति को देखा जाए तो यह महीना ठीक-ठाक रहने की संभावना है। हालांकि वक्री शनि महाराज पूरे महीने आपके अष्टम भाव में विराजमान रहकर खर्चों में कमी होने नहीं देंगे। फिर भी पूरे महीने बृहस्पति महाराज एकादश भाव में रहेंगे और 9 अक्टूबर से वह वक्री अवस्था में एकादश भाव में बैठकर आपकी आमदनी को बराबर बढ़ाते जाएंगे।
आपको धन की किसी तरह की कमी का सामना नहीं करना पड़ेगा लेकिन मंगल महाराज महीने के पूर्वार्ध में द्वादश भाव में बैठकर खर्चों को बढ़ा रहे हैं उनसे थोड़ा सा सावधान रहना होगा। 10 अक्टूबर से बुध और 17 अक्टूबर से सूर्य के चतुर्थ भाव में आ जाने के बाद और 13 अक्टूबर से शुक्र के पंचम भाव में जाने से और उसके एकादश भाव पर दृष्टि डालने से आमदनी में अच्छी वृद्धि देखने को मिल सकती है।
इसके बाद 29 अक्टूबर को बुध भी वृश्चिक राशि में आपके पंचम भाव में आकर एकादश भाव पर दृष्टि डालेंगे जिससे भी आमदनी बढ़ेगी और उससे पूर्व मंगल 20 अक्टूबर को आपके प्रथम भाव में आ जाएंगे। इस प्रकार महीने के उत्तरार्ध में खर्चों में कमी होगी और आमदनी में बढ़ोतरी होगी जिससे आपकी आर्थिक स्थिति बेहतर बन सकती है।
आपको धन की किसी तरह की कमी का सामना नहीं करना पड़ेगा लेकिन मंगल महाराज महीने के पूर्वार्ध में द्वादश भाव में बैठकर खर्चों को बढ़ा रहे हैं उनसे थोड़ा सा सावधान रहना होगा। 10 अक्टूबर से बुध और 17 अक्टूबर से सूर्य के चतुर्थ भाव में आ जाने के बाद और 13 अक्टूबर से शुक्र के पंचम भाव में जाने से और उसके एकादश भाव पर दृष्टि डालने से आमदनी में अच्छी वृद्धि देखने को मिल सकती है।
इसके बाद 29 अक्टूबर को बुध भी वृश्चिक राशि में आपके पंचम भाव में आकर एकादश भाव पर दृष्टि डालेंगे जिससे भी आमदनी बढ़ेगी और उससे पूर्व मंगल 20 अक्टूबर को आपके प्रथम भाव में आ जाएंगे। इस प्रकार महीने के उत्तरार्ध में खर्चों में कमी होगी और आमदनी में बढ़ोतरी होगी जिससे आपकी आर्थिक स्थिति बेहतर बन सकती है।
स्वास्थ्य
यह महीना स्वास्थ्य के दृष्टिकोण से वैसे तो अनुकूल रहने की संभावना है फिर भी आपको कुछ समस्याओं पर ध्यान रखना होगा। वक्री शनि महाराज पूरे महीने आपके अष्टम भाव में विराजमान रहेंगे जिससे किसी बड़ी बीमारी के पनपने का खतरा रहेगा। इस स्थिति से बचने के लिए आपको अपनी स्वास्थ्य समस्याओं को नजरअंदाज करने से बचना होगा। छोटी से छोटी समस्या पर ध्यान दें और आवश्यक होने पर चिकित्सक से संपर्क करें जिससे कोई भी बड़ी समस्या न बढ़ पाए।
महीने की शुरुआत में केतु, बुध और सूर्य आपके तीसरे भाव में विराजमान रहेंगे और उन पर देवगुरु बृहस्पति की दृष्टि भी होगी तथा मंगल महाराज भी उसी भाव को देखेंगे इससे आपके कंधों में, गले में, दर्द हो सकता है या कान में भी दर्द की समस्या या इंफेक्शन हो सकता है। यह छोटी-छोटी समस्याओं को नजरअंदाज न करें और अपने स्वास्थ्य पर नजर बनाए रखें। महीने के उत्तरार्ध में जब बुध और सूर्य तीसरे भाव से निकल जाएंगे तब कुछ हद तक आपको इन समस्याओं में कमी महसूस होगी और आपका स्वास्थ्य सुधरने लगेगा।
महीने की शुरुआत में केतु, बुध और सूर्य आपके तीसरे भाव में विराजमान रहेंगे और उन पर देवगुरु बृहस्पति की दृष्टि भी होगी तथा मंगल महाराज भी उसी भाव को देखेंगे इससे आपके कंधों में, गले में, दर्द हो सकता है या कान में भी दर्द की समस्या या इंफेक्शन हो सकता है। यह छोटी-छोटी समस्याओं को नजरअंदाज न करें और अपने स्वास्थ्य पर नजर बनाए रखें। महीने के उत्तरार्ध में जब बुध और सूर्य तीसरे भाव से निकल जाएंगे तब कुछ हद तक आपको इन समस्याओं में कमी महसूस होगी और आपका स्वास्थ्य सुधरने लगेगा।
प्रेम व वैवाहिक
यदि आप किसी प्रेम संबंध में हैं तो आपके लिए यह महीना अनुकूल कहा जा सकता है। पूरे महीने बृहस्पति महाराज आपके पंचम भाव पर दृष्टि डालते रहेंगे जिससे आपका प्रेम विकसित होगा। आप एक दूसरे पर भरोसा कर पाएंगे, एक दूसरे को जिम्मेदार मानेंगे, एक दूसरे के प्रति अपनी जिम्मेदारियां का निर्वाह करेंगे और अपने रिश्ते को बराबर समय देंगे। एक दूसरे के प्रति संजीदा होकर अपने रिश्ते को बराबर सम्मान देकर आप अपने प्रेम जीवन को विकसित करने में कामयाब रहेंगे।
आप जिससे प्रेम करते हैं उससे प्रेम को विवाह के रूप में बदलना चाहते हैं तो उसके लिए भी यह महीना अनुकूलता लेकर आ रहा है। आपकी कोशिशें कामयाब रहेंगी और आपको प्रेम विवाह करने में सफलता मिल सकती है तथा आपके रिश्ते की बात पक्की हो सकती है। शुक्र महाराज 13 अक्टूबर से आपके पंचम भाव में आकर आपके प्रेम संबंधों को और प्रगाढ़ बनाएंगे और उसमें रूमानियत भी बढ़ा देंगे। आप अपने प्रियतम के साथ अच्छा समय बिताएंगे और उनके लिए नए-नए तोहफ़े लेकर आ सकते हैं।
विवाहित जातकों की बात करें तो महीने की शुरुआत में द्वादश भाव में बैठे मंगल महाराज की दृष्टि आपके सप्तम भाव पर रहेगी और सप्तम भाव के स्वामी वक्री शनि महाराज अष्टम भाव में रहेंगे जिससे आपके वैवाहिक जीवन में उथल-पुथल की स्थिति रहेगी। केवल देवगुरु बृहस्पति महाराज की दृष्टि सप्तम भाव पर होने से कुछ समस्याएं संभल जाएगी लेकिन आपके ससुराल पक्ष के सदस्यों का व्यवहार अनुकूल न होने के कारण और उनके कड़वा बोलने के कारण आपको निराशा होगी और इससे आपके रिश्तों में भी तनाव बढ़ सकता है।
20 अक्टूबर से मंगल कर्क राशि में आकर यानी कि आपकी ही राशि में आकर सप्तम भाव को देखेंगे जिससे वैवाहिक जीवन में तनाव और बढ़ सकता है क्योंकि आप भी कुछ चिड़चिड़े हो जाएंगे और इससे बनती हुई बातें बिगड़ सकती हैं इसलिए आपको संभालना होगा।
बृहस्पति महाराज भी वक्री अवस्था से आपके सप्तम भाव को देखते रहेंगे जिससे चुनौतियों के बावजूद आप कोई ना कोई रास्ता निकाल लेंगे जिससे हर समस्या का सही समय पर समाधान हो जाएगा और आपका वैवाहिक जीवन धीरे-धीरे ही सही लेकिन पटरी पर लौट आएगा। यदि आप संतान प्राप्ति की इच्छा रखते हैं तो आपकी यह इच्छा इस महीने पूरी होने की संभावना बन रही है।
आप जिससे प्रेम करते हैं उससे प्रेम को विवाह के रूप में बदलना चाहते हैं तो उसके लिए भी यह महीना अनुकूलता लेकर आ रहा है। आपकी कोशिशें कामयाब रहेंगी और आपको प्रेम विवाह करने में सफलता मिल सकती है तथा आपके रिश्ते की बात पक्की हो सकती है। शुक्र महाराज 13 अक्टूबर से आपके पंचम भाव में आकर आपके प्रेम संबंधों को और प्रगाढ़ बनाएंगे और उसमें रूमानियत भी बढ़ा देंगे। आप अपने प्रियतम के साथ अच्छा समय बिताएंगे और उनके लिए नए-नए तोहफ़े लेकर आ सकते हैं।
विवाहित जातकों की बात करें तो महीने की शुरुआत में द्वादश भाव में बैठे मंगल महाराज की दृष्टि आपके सप्तम भाव पर रहेगी और सप्तम भाव के स्वामी वक्री शनि महाराज अष्टम भाव में रहेंगे जिससे आपके वैवाहिक जीवन में उथल-पुथल की स्थिति रहेगी। केवल देवगुरु बृहस्पति महाराज की दृष्टि सप्तम भाव पर होने से कुछ समस्याएं संभल जाएगी लेकिन आपके ससुराल पक्ष के सदस्यों का व्यवहार अनुकूल न होने के कारण और उनके कड़वा बोलने के कारण आपको निराशा होगी और इससे आपके रिश्तों में भी तनाव बढ़ सकता है।
20 अक्टूबर से मंगल कर्क राशि में आकर यानी कि आपकी ही राशि में आकर सप्तम भाव को देखेंगे जिससे वैवाहिक जीवन में तनाव और बढ़ सकता है क्योंकि आप भी कुछ चिड़चिड़े हो जाएंगे और इससे बनती हुई बातें बिगड़ सकती हैं इसलिए आपको संभालना होगा।
बृहस्पति महाराज भी वक्री अवस्था से आपके सप्तम भाव को देखते रहेंगे जिससे चुनौतियों के बावजूद आप कोई ना कोई रास्ता निकाल लेंगे जिससे हर समस्या का सही समय पर समाधान हो जाएगा और आपका वैवाहिक जीवन धीरे-धीरे ही सही लेकिन पटरी पर लौट आएगा। यदि आप संतान प्राप्ति की इच्छा रखते हैं तो आपकी यह इच्छा इस महीने पूरी होने की संभावना बन रही है।
पारिवारिक
यह महीना पारिवारिक तौर पर ठीक-ठाक रहने की संभावना है। महीने की शुरुआत में चतुर्थ भाव के स्वामी शुक्र महाराज चतुर्थ भाव में विराजमान रहेंगे और दशम भाव के स्वामी मंगल महाराज द्वादश भाव में रहेंगे। पारिवारिक मामलों में सुख और शांति बनी रहेगी। दूसरे भाव पर वक्री शनि की दृष्टि होने के कारण कुटुंब के मामलों में कुछ समस्याएं रह सकती है लेकिन आपके परिवार का माहौल अच्छा रहेगा। परिवार के सदस्यों को स्वास्थ्य लाभ होगा। महीने के उत्तरार्ध में सूर्य और बुध आपके चतुर्थ भाव में आ जाएंगे और शुक्र पंचम भाव में प्रवेश कर जाएंगे इससे भी परिवार में आपकी पकड़ मजबूत होगी।
परिवार के सदस्यों के बीच आपसी सामंजस्य बेहतर बनेगा और परिवार का माहौल अनुकूल हो जाएगा और परिवार के सदस्यों के बीच चल रहे तनाव में कमी आएगी। महीने का पूर्वार्ध आपके भाई बहनों के स्वास्थ्य और जीवन के लिए अधिक अनुकूल नहीं कहा जा सकता है क्योंकि इस दौरान उन्हें स्वास्थ्य समस्याएं पीड़ित कर सकती हैं और उन्हें अपने जीवन में कुछ चुनौतियों का सामना करना पड़ेगा।
हालांकि महीने के उत्तरार्ध में इन सभी चुनौतियों में कमी आएगी और आपको भी उनका सहयोग मिलेगा। आप भी एक अच्छे भाई बहन के रूप में उनकी मदद कर सकते हैं। आपको अपनी चुनौतियों को दरकिनार करते हुए अपने परिवार का साथ देना होगा इससे परिवार का माहौल अच्छा रहेगा।
परिवार के सदस्यों के बीच आपसी सामंजस्य बेहतर बनेगा और परिवार का माहौल अनुकूल हो जाएगा और परिवार के सदस्यों के बीच चल रहे तनाव में कमी आएगी। महीने का पूर्वार्ध आपके भाई बहनों के स्वास्थ्य और जीवन के लिए अधिक अनुकूल नहीं कहा जा सकता है क्योंकि इस दौरान उन्हें स्वास्थ्य समस्याएं पीड़ित कर सकती हैं और उन्हें अपने जीवन में कुछ चुनौतियों का सामना करना पड़ेगा।
हालांकि महीने के उत्तरार्ध में इन सभी चुनौतियों में कमी आएगी और आपको भी उनका सहयोग मिलेगा। आप भी एक अच्छे भाई बहन के रूप में उनकी मदद कर सकते हैं। आपको अपनी चुनौतियों को दरकिनार करते हुए अपने परिवार का साथ देना होगा इससे परिवार का माहौल अच्छा रहेगा।
उपाय
आपको श्री बजरंग बाण का प्रतिदिन पाठ करना चाहिए।
यदि संभव हो तो हनुमान जी को मंगलवार के दिन चोला चढ़ाएं।
अपनी जेब में सदैव एक पीले रंग का रुमाल रखें।
सोमवार के दिन श्री शिव मंदिर अवश्य जाएं और शिवजी का दूध से अभिषेक करें।
यदि संभव हो तो हनुमान जी को मंगलवार के दिन चोला चढ़ाएं।
अपनी जेब में सदैव एक पीले रंग का रुमाल रखें।
सोमवार के दिन श्री शिव मंदिर अवश्य जाएं और शिवजी का दूध से अभिषेक करें।
सिंह का मासिक राशिफल / Simha Masik Rashifal in Hindi
October, 2024
सामान्य
यह महीना आपके लिए मिले-जुले परिणाम लेकर आने वाला है। जहां तक आपके करियर का प्रश्न है तो नौकरी करने वाले जातकों को अनेक प्रकार के शुभ परिणाम प्राप्त हो सकते हैं। इस महीने न केवल आपको पदोन्नति मिल सकती है, बल्कि आपकी तनख्वाह में वृद्धि के योग भी बनने वाले हैं। सरकारी क्षेत्र के लोगों को भी अच्छा लाभ मिल सकता है। व्यापार करने वाले जातकों को अपने दिशा निर्देशों को कड़ाई से पालन करवाना होगा इससे आपको और बेहतर नतीजे की प्राप्ति होगी और आपका व्यापार भी अच्छी प्रगति करेगा। प्रेम संबंधों में उतार-चढ़ाव के बावजूद रिश्ते में प्रेम बढ़ाने के योग बनेंगे, लेकिन अपने व्यवहार को नियंत्रण में रखना आवश्यक होगा। वैवाहिक संबंधों के लिए कुछ चुनौतीपूर्ण समय रहेगा फिर भी आप अपनी समझदारी से स्थिति को संभाल पाएंगे। स्वास्थ्य के दृष्टिकोण से यह महीना कमजोर रहने की संभावना है और आप बीमारी की चपेट में आ सकते हैं। मानसिक रूप से तनाव आपको विशेष रूप से प्रभावित करेगा। पारिवारिक जीवन में हलचल मची रहेगी। कुछ समय के लिए शांति आ सकती है, लेकिन आपको स्थितियों पर ध्यान देना होगा। विद्यार्थी वर्ग के लिए यह महीना कुछ कर दिखाने का महीना है। अपनी कमर कास लें और भरपूर मेहनत करें। विदेश जाकर पढ़ने का सपना देखने वालों की इच्छा महीने के उत्तरार्ध में पूरी हो सकती है और अन्य जातकों को भी विदेश जाने में सफलता मिल सकती है।
कार्यक्षेत्र
करियर के दृष्टिकोण से यह महीना अच्छी उपलब्धि लेकर आ सकता है। इस महीने आपके दशम भाव के स्वामी शुक्र महाराज महीने की शुरुआत में तीसरे भाव में रहेंगे और 13 अक्टूबर से आपके चतुर्थ भाव में आकर दशम भाव को पूर्ण सप्तम दृष्टि से देखेंगे। जिससे नौकरी में आपकी स्थिति अच्छी रहेगी। आपके आसपास का माहौल भी बढ़िया रहेगा। दशम भाव में देवगुरु बृहस्पति भी विराजमान रहेंगे। इससे आपके आसपास के लोग आपको सहयोग देंगे। आपके सहकर्मियों का सहयोग भी आपके काम में रहेगा जो आपको अच्छा प्रदर्शन करने में मददगार बनेगा। 9 अक्टूबर से इसी दशम भाव में देवगुरु बृहस्पति वक्री अवस्था में आ जाएंगे। जिससे आपको और अधिक मेहनत करनी होगी और अपने निर्णय को बार-बार जांचना होगा। हालांकि इससे आपको यह लाभ होगा कि आपके काम में और अधिक सुधार देखने को मिलेगा तथा आपको प्रशंसा प्राप्त होगी। आपको इस महीने पदोन्नति मिलने के प्रबल योग बनेंगे। इसके साथ ही आपकी तनख्वाह में वृद्धि भी हो सकती है। यदि आप सरकारी क्षेत्र में काम करते हैं तो आपके लिए यह महीना और भी अधिक लाभदायक साबित होने वाला है। शनि महाराज पूरे महीने वक्री अवस्था में सप्तम भाव में विराजमान रहेंगे, जो आपको आपकी नौकरी में एक अच्छा मुकाम प्रदान करने में मददगार बनेंगे। यदि आप कोई व्यापार करते हैं तो आपके लिए भी यह महीना अच्छा रहेगा। शनि महाराज वक्री अवस्था में सप्तम भाव में अपनी ही राशि के होकर विराजमान रहेंगे। इससे आपको यह फायदा होगा कि आप अनुशासित रहकर अपना काम बेहतर तरीके से कर पाएंगे और अपने नियमों का कड़ाई से पालन करना आपको पसंद आएगा। जिससे आपको कुछ अच्छे परिणामों की प्राप्ति हो सकती है। हालांकि आपको अपने अधीन काम करने वाले लोगों से अच्छा व्यवहार करना होगा। तभी आपको शनिदेव अच्छा प्रणाम प्रदान करेंगे। आपके व्यापार में उन्नति धीरे-धीरे होगी, लेकिन पक्के तौर पर होगी इसलिए थोड़ा धैर्य और सामंजस्य बनाए रखें। व्यापार सही दिशा में उन्नति करेगा।
आर्थिक
यदि आपकी आर्थिक स्थिति को देखा जाए तो महीने की शुरुआत में मंगल आपकी एकादश भाव में विराजमान रहकर आपकी आर्थिक स्थिति को उत्तम बनाएंगे। देवगुरु बृहस्पति की दृष्टि दूसरे भाव पर रहेगी, जहां पर सूर्यपुत्र केतु होंगे। जिससे आर्थिक स्थितियां बेहतर रहेगी, लेकिन महीने के उत्तरार्ध में इन स्थितियों में कुछ कमी आएगी। मंगल 20 अक्टूबर से द्वादश भाव में जाकर आपके खर्चे के योग बनेंगे। उधर राहु पूरे महीने अष्टम भाव में रहकर अवांछित यात्राएं और फिर जल खर्च करेंगे। इसलिए आपको कोई बड़ी चुनौती तो नहीं महसूस होगी। आपकी आमदनी भी ठीक रहेगी। जिससे आप हर संभव बचत करने की कोशिश भी करेंगे और उसमें काफी हद तक कामयाब भी रहेंगे। बस आपको अपने अनियंत्रित खर्चों और फिजूल की यात्राओं से बचना चाहिए। इससे बहुत हद तक धन को बचा पाएंगे और आर्थिक स्थिति को बेहतर बना पाएंगे।
स्वास्थ्य
यह महीना स्वास्थ्य के दृष्टिकोण से कुछ कमजोर रहने की संभावना है। आपकी राशि स्वामी सूर्य महाराज महीने की शुरुआत में आपके दूसरे भाव में बुध और केतु के साथ विराजमान रहेंगे और अष्टम भाव में बैठे रहु महाराज दशम भाव में बैठे बृहस्पति और एकादश भाव में बैठे मंगल की पूर्ण दृष्टि उन पर होगी जिससे स्वास्थ्य समस्याओं की स्थिति बिगड़ सकती है। आपको आंखों से संबंधित समस्या या पेट से संबंधित बीमारियां परेशान कर सकती हैं। महीने के उत्तरार्ध में सूर्य तुला राशि में आपके तीसरे भाव में चले जाएंगे। तब इन समस्याओं में कमी आएगी और बुध भी यहां से निकल जाएंगे। तब स्थितियां काफी हद तक आपके नियंत्रण में आ सकती हैं। हालांकि मंगल के द्वादश भाव में चले जाने से रक्त जनित समस्याएं अनियमित रक्तचाप और किसी तरह की चोट लगना आदि समस्याएं परेशान कर सकती हैं इसलिए आपको स्वास्थ्य पर नजर बना कर रखती है और अच्छा भोजन करना चाहिए, जिससे आप तंदुरुस्त बने रह सकें।
प्रेम व वैवाहिक
यदि आपके प्रेम और वैवाहिक जीवन की बात की जाए तो पंचम भाव के स्वामी बृहस्पति महाराज पूरे महीने आपके दशम भाव में विराजमान रहेंगे और मंगल महाराज की दृष्टि महीने की शुरुआत में आपके पंचम भाव में रहेगी, जिस रिश्ते में तनाव बढ़ेगा। आप कुछ ऐसी बातें कह सकते हैं जो आपकी प्रियतम के दिल में तीर की तरह चुभ सकती हैं। आप कड़वे वचन भी बोल सकते हैं। कई बार ऐसे शब्द रचना कर सकते हैं, जो उन्हें अच्छे से समझ में ना आए। इस सभी स्थिति से बचने के लिए उनसे कम बातचीत करें और जितना बोले साफ और स्पष्ट बोले। इससे बात का बतंगड़ नहीं बनेगा और कोई वाद विवाद नहीं बढ़ेगा और आपका रिश्ता ठीक-ठाक चलता रहेगा। पंचम भाव के स्वामी बृहस्पति महाराज 9 अक्टूबर से वक्री हो रहे हैं यह समय कुछ हद तक आपको सफलता देगा। आपके प्रेम जीवन को नयापन देगा। आप अपने प्रियतम के साथ अपने भविष्य के सपने सजाएंगे और उनको खुश रखने के लिए बहुत सारे प्रयास भी करेंगे। जिससे धीरे-धीरे आपके रिश्ते में प्रेम लौट आएगा। यदि विवाहित जातकों की बात करें तो पूरे महीने शनि महाराज अपनी ही राशि कुंभ में वक्री अवस्था में सप्तम भाव में विराजमान रहेंगे। इसके अतिरिक्त महीने की शुरुआत में किसी भी ग्रह की दृष्टि सप्तम भाव पर नहीं रहेगी, जिससे आप अपने वैवाहिक जीवन में एक संतुलन बनाकर रहेंगे और इससे परिस्थितियां नियंत्रण में रहेंगी। आपका आपके जीवनसाथी के माध्यम समरसता और प्रेम का भाव बढ़ेगा।
आप साथ मिलकर अपनी जिम्मेदारियों को पूरी तरह से निभाएंगे और अपने वैवाहिक जीवन को और बेहतर बनाने की दिशा में प्रयास करेंगे, लेकिन 20 अक्टूबर से मंगल द्वादश भाव में जाकर अपनी अष्टम दृष्टि से आपके सप्तम भाव पर दृष्टि डालेंगे। जिससे जीवनसाथी को स्वास्थ्य समस्याएं परेशान कर सकती हैं और उनके व्यवहार में भी चिड़चिड़ापन बढ़ सकता है। इससे आपके वैवाहिक जीवन में तनाव बढ़ेगा। उधर राहु महाराज अष्टम भाव में पूरे महीने रहने वाले हैं और महीने की शुरुआत से ही सूर्य बुध केतु दूसरे भाव में रहकर उन पर दृष्टि डालेंगे। जिससे आपके परिवार और आपके ससुराल के लोगों के बीच कुछ मध्यस्थता की आवश्यकता पड़ेगी। अन्यथा आपस में वाद विवाद बढ़ सकता है। महीने के उत्तरार्ध में इन स्थितियों में कमी आएगी इसलिए आपको थोड़ा सा संभल का रहना होगा और जब कोई ऐसी बात हो तो आपको समझदारी दिखाते हुए मामले को शांत करने का प्रयास करना होगा। ऐसा करने से आपका वैवाहिक जीवन ठीक-ठाक रहेगा।
आप साथ मिलकर अपनी जिम्मेदारियों को पूरी तरह से निभाएंगे और अपने वैवाहिक जीवन को और बेहतर बनाने की दिशा में प्रयास करेंगे, लेकिन 20 अक्टूबर से मंगल द्वादश भाव में जाकर अपनी अष्टम दृष्टि से आपके सप्तम भाव पर दृष्टि डालेंगे। जिससे जीवनसाथी को स्वास्थ्य समस्याएं परेशान कर सकती हैं और उनके व्यवहार में भी चिड़चिड़ापन बढ़ सकता है। इससे आपके वैवाहिक जीवन में तनाव बढ़ेगा। उधर राहु महाराज अष्टम भाव में पूरे महीने रहने वाले हैं और महीने की शुरुआत से ही सूर्य बुध केतु दूसरे भाव में रहकर उन पर दृष्टि डालेंगे। जिससे आपके परिवार और आपके ससुराल के लोगों के बीच कुछ मध्यस्थता की आवश्यकता पड़ेगी। अन्यथा आपस में वाद विवाद बढ़ सकता है। महीने के उत्तरार्ध में इन स्थितियों में कमी आएगी इसलिए आपको थोड़ा सा संभल का रहना होगा और जब कोई ऐसी बात हो तो आपको समझदारी दिखाते हुए मामले को शांत करने का प्रयास करना होगा। ऐसा करने से आपका वैवाहिक जीवन ठीक-ठाक रहेगा।
पारिवारिक
यह महीना पारिवारिक तौर पर सावधानी से चलने वाला महीना है। चतुर्थ स्थान के स्वामी मंगल महाराज महीने की शुरुआत में एकादश भाव में रहेंगे। जिससे पारिवारिक संपत्ति की वृद्धि होगी। संपत्ति के क्रय विक्रय से लाभ होगा और परिवार में एकरूपता रहेगी देवगुरु बृहस्पति भी महीने की शुरुआत में दशम भाव में बैठकर चतुर्थ भाव को पूर्ण सप्तम दृष्टि से देखेंगे और आपके दूसरे भाव पर भी उनके दृष्टि रहेगी। जिससे पारिवारिक समरसता बनी रहेगी लेकिन महीने की शुरुआत में दूसरे भाव में बुध केतु और सूर्य जैसे ग्रह विराजमान होने के कारण आपके कुटुंब में आपस में कहासुनी होने तनाव बढ़ने और किसी बात पर एक मत ना होने के कारण समस्याएं जन्म ले सकती हैं। हालांकि देवगुरु बृहस्पति की दृष्टि इसको संभालने की कोशिश करेगी लेकिन 9 अक्टूबर से बृहस्पति भी वक्री हो जाएंगे तो स्थितियां बिगड़ सकती हैं। इसके बाद बुद्ध 10 अक्टूबर को और सूर्य 17 अक्टूबर को आपके तीसरे भाव में चले जाएंगे। जिससे इन समस्याओं में कुछ हद तक कमी आएगी और घर का माहौल सुधरेगा, लेकिन चौथे भाव के स्वामी मंगल अपनी नीच राशि कर्क में 20 अक्टूबर को आपके द्वादश भाव में चले जाएंगे, जिससे आपके घर से दूर जाने या विदेश यात्रा के योग बन सकते हैं। आपके पारिवारिक समस्याएं कुछ हद तक कम होंगी, लेकिन आपको परेशान करती रहेगी। आपको अपने भाई बहनों से सुख मिलेगा। आप उनकी भलाई के लिए विचार करेंगे और उनकी मदद करेंगे। उनसे आपका व्यवहार मधुर बना रहेगा पिताजी और माताजी के स्वास्थ्य में भी सुधार रहेगा इसलिए कोई बड़ी चिंता की बात नहीं रहेगी।
उपाय
आपको बृहस्पतिवार के दिन केला नहीं खाना चाहिए बल्कि चार केले किसी ब्राह्मण अथवा विद्यार्थी को खाने के लिए देना चाहिए।
आपको अपने गले में एक सोने का सूर्य सोने की चेन अथवा लाल रंग के धागे में रविवार के दिन प्रातः काल 8:00 बजे से पूर्व धारण करना चाहिए।
आपको मंगलवार के दिन श्री हनुमान चालीसा का पाठ करना चाहिए।
आपके लिए सर्वोत्तम होगा यदि आप मंगलवार के दिन किसी मंदिर में तिकोना ध्वज लगाएं।
आपको अपने गले में एक सोने का सूर्य सोने की चेन अथवा लाल रंग के धागे में रविवार के दिन प्रातः काल 8:00 बजे से पूर्व धारण करना चाहिए।
आपको मंगलवार के दिन श्री हनुमान चालीसा का पाठ करना चाहिए।
आपके लिए सर्वोत्तम होगा यदि आप मंगलवार के दिन किसी मंदिर में तिकोना ध्वज लगाएं।
कन्या का मासिक राशिफल / Kanya Masik Rashifal in Hindi
October, 2024
सामान्य
कन्या राशि में जन्मे जातकों के लिए यह महीना मिश्रित परिणाम लेकर आएगा। आपको अपने स्वास्थ्य का विशेष रूप से ध्यान रखने की आवश्यकता पड़ेगी क्योंकि इस महीने आपकी सेहत कमजोर रह सकती है और आप बीमारियों की चपेट में आ सकते हैं। आपके रोग प्रतिरोधक क्षमता में भी कमी होने के संकेत मिलते हैं। जिससे आप किसी भी संक्रमण की चपेट में आसानी से आ सकते हैं इसलिए इस पूरे ही महीने अपने स्वास्थ्य का बेहतर तरीके से ध्यान रखें। जहां तक करियर के मामले की बात है तो नौकरी में उतार-चढ़ाव की स्थिति आएगी। फिर भी आप अच्छी स्थिति में रहेंगे व्यापार करने वाले जातकों को तेज बुद्धि का लाभ मिलेगा। अपने व्यावसायिक साझेदार से अच्छे संबंधों के कारण आपके व्यापार में उन्नति होगी, लेकिन कई ऐसी चुनौतियां आपके सामने आएंगे जो व्यापार की गति को शिथिल कर सकती हैं इसलिए सावधानी से आगे बढ़े। पारिवारिक जीवन में अच्छी स्थिति रहने की संभावना है। प्रेम संबंधों के लिए समय ठीक-ठाक रहेगा, जबकि वैवाहिक जीवन में तनाव और टकराव की स्थिति बनती बिगड़ती रहेगी। आर्थिक रूप से महीना ठीक-ठाक रहने की संभावना है, जबकि विद्यार्थियों को कठिन चुनौतियों के लिए तैयार रहना होगा। आप पढ़ाई के लिए विदेश जाने में कामयाब हो सकते हैं।
कार्यक्षेत्र
करियर के दृष्टिकोण से यह महीना अनुकूल रहने की संभावना है। दशम भाव में मंगल महाराज महीने की शुरुआत में रहेंगे और दशम भाव के स्वामी बुध महाराज आपके प्रथम भाव में अपनी उच्च राशि कन्या में सूर्य और केतु के साथ स्थित रहेंगे। उनके ऊपर देवगुरु बृहस्पति की भी पूर्ण दृष्टि रहेगी। इससे आप अपनी नौकरी में अपनी सूझबूझ का परिचय देंगे। आपके हाजिर जवाब और आपकी काम के प्रति कुशलता आपको सबसे आगे रखेगी। जिससे कार्यक्षेत्र में अच्छे सफलता के योग बन सकते हैं। छठे भाव के स्वामी शनि महाराज छठे ही भाव में विराजमान रहेंगे लेकिन वक्री अवस्था में होने से आपको नौकरी में कठिन मेहनत करनी होगी। आपके ऊपर काम का दबाव भी होगा, लेकिन आप किसी भी चीज से घबराएंगे नहीं और अपना शत प्रतिशत योगदान देने में कामयाब रहेंगे। आपके सहकर्मियों का विशेष सहयोग आपको मिलेगा। जिससे आप कार्यक्षेत्र में अच्छी स्थिति प्राप्त करने में कामयाब रहेंगे। उसके बाद मंगल आपके एक आदर्श भाव में 20 अक्टूबर को चले जाएंगे जिससे आपको और बेहतर परिणाम की प्राप्ति होगी।
बुध महाराज 10 अक्टूबर से आपके दूसरे भाव में जाएंगे जो आपको नौकरी में अच्छी आमदनी भी प्रदान करेगा। व्यापार करने वाले जातकों के लिए महीना ठीक-ठाक रहने की संभावना है। आप अपनी सूझबूझ और तेज बुद्धि का इस्तेमाल करते हुए व्यापार में कुछ नई तेजी लेकर आएंगे। कुछ नए लोगों से आपके नए संपर्क स्थापित होंगे और आपको इससे लाभ मिलेगा। व्यावसायिक साझेदार से अगर अच्छे संबंध बनाकर रखेंगे तो इससे आपको अत्यधिक लाभ होगा। महीने की शुरुआत में सूर्य बुध और केतु प्रथम भाव में बैठकर सप्तम भाव को देखेंगे। जिससे व्यापार में कुछ शिथिलता भी आ सकती है इसलिए कुछ चुनौतियों के लिए आपको तैयार रहना होगा लेकिन महीने का उत्तरार्ध अनुकूल रहेगा जिससे व्यापार में प्रगति होगी।
बुध महाराज 10 अक्टूबर से आपके दूसरे भाव में जाएंगे जो आपको नौकरी में अच्छी आमदनी भी प्रदान करेगा। व्यापार करने वाले जातकों के लिए महीना ठीक-ठाक रहने की संभावना है। आप अपनी सूझबूझ और तेज बुद्धि का इस्तेमाल करते हुए व्यापार में कुछ नई तेजी लेकर आएंगे। कुछ नए लोगों से आपके नए संपर्क स्थापित होंगे और आपको इससे लाभ मिलेगा। व्यावसायिक साझेदार से अगर अच्छे संबंध बनाकर रखेंगे तो इससे आपको अत्यधिक लाभ होगा। महीने की शुरुआत में सूर्य बुध और केतु प्रथम भाव में बैठकर सप्तम भाव को देखेंगे। जिससे व्यापार में कुछ शिथिलता भी आ सकती है इसलिए कुछ चुनौतियों के लिए आपको तैयार रहना होगा लेकिन महीने का उत्तरार्ध अनुकूल रहेगा जिससे व्यापार में प्रगति होगी।
आर्थिक
यदि आपकी आर्थिक स्थिति को देखा जाए तो यह महीना बहुत हद तक आपको अच्छे परिणाम प्रदान कर सकता है, लेकिन शनि महाराज छठे भाव में वक्री अवस्था में बैठकर द्वादश भाव को देखेंगे जो आपकी आर्थिक चुनौतियों का कारण बन सकते हैं और आपके किसी न किसी खर्च को लगातार बनाए रखेंगे। इस महीने आपको किसी के स्वास्थ्य पर भी खर्च करना पड़ सकता है या आप खुद भी बीमार हो सकते हैं इसलिए आपको अपने स्वास्थ्य पर भी खर्च करना पड़ सकता है। मंगल महाराज महीने की शुरुआत में दशम भाव में रहेंगे और 20 अक्टूबर से आपका एक आदर्श भाव में आकर आपकी आर्थिक आमदनी में अच्छी बढ़ोतरी दिखा रहे हैं। शुक्र महाराज महीने की शुरुआत में दूसरे भाव के स्वामी होकर दूसरे भाव में विराजमान रहकर आपके बैंक बैलेंस में वृद्धि करेंगे और धन को संचित करने में मदद करेंगे। जिससे आपकी आर्थिक स्थिति दिन प्रतिदिन बढ़िया होती जाएगी। उसके बाद सूर्य और बुध महीने के उत्तरार्ध में आपके दूसरे भाव में रहेंगे। यह भी आपकी आर्थिक स्थिति को बेहतर बनाने में आपकी मदद करेंगे। देवगुरु बृहस्पति नवम भाव में बैठकर प्रथम भाव को देखेंगे और आपको सही निर्णय लेकर आर्थिक तौर पर मजबूत बनाने में मदद करेंगे। आपको बस इस महीने बेहतर तरीके से अपने धंधे को संभालने पर ध्यान देना होगा आपकी आर्थिक स्थिति स्वतः ही दुरुस्त हो जाएगी।
स्वास्थ्य
यह महीना स्वास्थ्य के दृष्टिकोण से बेहद कमजोर रहने की संभावना है। आपको अपने स्वास्थ्य पर पूरी तरह से ध्यान देना पड़ेगा। राशि स्वामी बुध अस्त अवस्था में महीने की शुरुआत में आपकी ही राशि में विराजमान रहेंगे। उनके साथ सूर्य और केतु भी होंगे तथा राहु सप्तम भाव में विराजमान होंगे शनि महाराज अपनी ही राशि कुंभ से होकर छठे भाव में वक्री अवस्था में रहेंगे तो देवगुरु बृहस्पति महाराज नवम भाव में बैठकर प्रथम भाव को देखेंगे और मंगल दशम भाव से प्रथम भाव पर दृष्टि डालेंगे। इस महीने आपकी रोग प्रतिरोधक क्षमता कमजोर होने के कारण आप आसानी से किसी भी रोग की चपेट में आ सकते हैं, इसलिए अपनी स्वास्थ्य समस्याओं के प्रति सचेत रहें आपको किसी प्रकार का पेट या अन्य प्रकार का संक्रमण परेशान कर सकता है। इसके अतिरिक्त मानसिक तनाव से भी आपको जूझना पड़ सकता है। महीने का पूर्वार्ध ज्यादा कमजोर है। महीने के उत्तरार्ध में अपेक्षाकृत धीरे-धीरे स्वास्थ्य में सुधार आना शुरू हो जाएगा। आपको यदि कोई बड़ी समस्या महसूस हो रही है तो तत्काल प्रभाव से चिकित्सा की देखरेख में अपना उपचार कारण ताकि आप स्वस्थ हो सकें।
प्रेम व वैवाहिक
यदि आप किसी प्रेम संबंध में हैं तो यह महीना कुछ कठिन रहेगा। मंगल महाराज महीने की शुरुआत में दशम भाव में बैठकर आपके पंचम भाव को अष्टम दृष्टि से देखकर प्रेम भाव को कमजोर कर सकते हैं। पंचम भाव के स्वामी वक्री शनि छठे भाव में रहेंगे, जो प्रेम के मामले में आपको कठिन चुनौतियां में घेर कर रखेंगे। आपको बार-बार परीक्षा से गुजरना होगा और अपने आप को साबित करना होगा। हालांकि देवगुरु बृहस्पति की दृष्टि नवम भाव से पंचम भाव पर होने के कारण आप अपनी जिम्मेदारियां को भी निभाएंगे और अपने रिश्ते को भी बराबर महत्व देते जाएंगे। जिससे आपका प्रेम जीवन अच्छा चलेगा। लेकिन 9 अक्टूबर से बृहस्पति वक्री हो जाएंगे और मंगल भी 20 अक्टूबर से कर्क राशि में यानी कि अपनी नीच राशि में एकादश भाव में जाकर आपके पंचम भाव को देखेंगे जो आपके रिश्ते के लिए अच्छा नहीं होगा इसलिए आपको सावधानी बरतनी होगी। वह आपके पंचमेश शनि महाराज से सदाश्ताक योग का निर्माण होगा जो आपके प्रेम संबंधों के लिए अनुकूल साबित न होने की संभावना है इसलिए किसी भी वाद विवाद को बढ़ाने से पहले ही आपको संभलने की कोशिश करनी होगी। ताकि आपका प्रेम जीवन ठीक-ठाक चलता रहे। विवाहित जातकों की बात करें तो राहु महाराज पूरे महीने सप्तम भाव में विराजमान रहेंगे और सप्तम भाव के स्वामी बृहस्पति महाराज नवम भाव में रहेंगे। जिससे जीवनसाथी से अच्छा समन्वय रहेगा। आप अपने जीवन साथी के साथ कहीं ना कहीं घूमने या किसी तीर्थ स्थान की यात्रा पर जा सकते हैं। सूर्य बुध और केतु प्रथम भाव में बैठे रहेंगे महीने की शुरुआत में आपका वैवाहिक जीवन को परेशानियों में डाल सकते हैं। उसके बाद महीने का उत्तरार्ध अपेक्षाकृत अनुकूल रहेगा और तब इन समस्याओं में कमी आएगी जिससे आप राहत की सांस लेंगे।
पारिवारिक
यह महीना पारिवारिक तौर पर आपके लिए उतार-चढ़ाव से भरा रहने की संभावना है। फिर भी आपको कुछ अच्छे पल व्यतीत करने को प्राप्त होंगे और घर का माहौल अच्छा भी रहेगा क्योंकि दूसरे भाव के स्वामी शुक्र महाराज महीने की शुरुआत में दूसरे भाव में ही विराजमान रहेंगे। जो कुटुंब के सदस्यों में आपस में प्रेम भाव बढ़ाएंगे। आपके परिवार में कोई बड़ा फंक्शन या शादी विवाह का कार्यक्रम संपन्न हो सकता है। या किसी का जन्मदिन भी मनाया जा सकता है। चौथे भाव के स्वामी देवगुरु बृहस्पति नवम भाव में विराजमान रहेंगे, जो 9 अक्टूबर से वक्री भी हो जाएंगे और मंगल की दृष्टि दशम भाव से आपके चौथे भाव पर रहेगी। इससे पारिवारिक जीवन में उतार-चढ़ाव की स्थितियां तो रहेगी लेकिन फिर भी एक डोर में आप सभी बंदे रहेंगे, जो पारिवारिक जीवन को मजबूत बनाएगी।
10 अक्टूबर से बुध और 17 अक्टूबर से सूर्य तुला राशि में दूसरे भाव में आ जाएंगे तो शुक्र 13 अक्टूबर को वृश्चिक राशि में तीसरे भाव में चले जाएंगे। इससे भी परिवार की साख में वृद्धि होगी। परिवार को समझ में विशेष स्थान मिलेगा और आपको भी खुशी मिलेगी। भाई-बहनों के लिए यह समय अनुकूल रहेगा और उन्हें प्रगति करने का मौका मिलेगा। वह अपने जीवन में आगे बढ़ेंगे और उनसे भी आपको लाभ होगा पर और आपसे भी उन्हें लाभ होगा जिससे आपका आपसी सामंजस्य और बेहतर हो जाएगा और आप पारिवारिक जीवन का बेहतर तरीके से लुत्फ उठा पाएंगे।
10 अक्टूबर से बुध और 17 अक्टूबर से सूर्य तुला राशि में दूसरे भाव में आ जाएंगे तो शुक्र 13 अक्टूबर को वृश्चिक राशि में तीसरे भाव में चले जाएंगे। इससे भी परिवार की साख में वृद्धि होगी। परिवार को समझ में विशेष स्थान मिलेगा और आपको भी खुशी मिलेगी। भाई-बहनों के लिए यह समय अनुकूल रहेगा और उन्हें प्रगति करने का मौका मिलेगा। वह अपने जीवन में आगे बढ़ेंगे और उनसे भी आपको लाभ होगा पर और आपसे भी उन्हें लाभ होगा जिससे आपका आपसी सामंजस्य और बेहतर हो जाएगा और आप पारिवारिक जीवन का बेहतर तरीके से लुत्फ उठा पाएंगे।
उपाय
आपको अपने राशि स्वामी बुध महाराज के विशेष रत्न पन्ना रत्न को अपनी कनिष्ठिका अंगुली में बुधवार के दिन धारण करना चाहिए।
आपको प्रतिदिन भगवान श्री हरि विष्णु जी की उपासना करनी चाहिए।
आपको शुक्र ग्रह के बीज मंत्र का जाप करना भी अत्यंत लाभदायक साबित होगा।
छोटी कन्याओं के चरण छूकर उनका आशीर्वाद लें और उन्हें भेंट स्वरूप कुछ न कुछ अवश्य दें।
आपको प्रतिदिन भगवान श्री हरि विष्णु जी की उपासना करनी चाहिए।
आपको शुक्र ग्रह के बीज मंत्र का जाप करना भी अत्यंत लाभदायक साबित होगा।
छोटी कन्याओं के चरण छूकर उनका आशीर्वाद लें और उन्हें भेंट स्वरूप कुछ न कुछ अवश्य दें।
तुला का मासिक राशिफल / Tula Masik Rashifal in Hindi
October, 2024
सामान्य
तुला राशि में जन्मे जातकों के लिए यह महीना सावधानी से भरा महीना है। न केवल स्वास्थ्य बल्कि आपको आर्थिक तौर पर भी इस महीने बहुत सावधानी रखने की आवश्यकता पड़ेगी क्योंकि महीने की शुरुआत से ही खर्च का बोझ अचानक से आपके ऊपर आ जाएगा। जिसे संभालना आपके लिए चुनौतीपूर्ण होगा। करियर की बात करें तो नौकरी में काफी व्यस्तता रहेगी और आपकी भाग दौड़ बढ़ेगी और एक जगह डटकर काम करना थोड़ा सा मुश्किल लगेगा, लेकिन आप अपनी मेहनत जारी रखेंगे। व्यापार करने वाले जातकों को यात्राओं पर जाने का मौका मिलेगा और आनंद यात्राओं से उन्हें व्यापार में अच्छे परिणाम की प्राप्ति हो सकती है। व्यापार के उद्देश्य से यह महीना ठीक-ठाक रहने वाला है।
विवाहित जातकों के लिए महीने की शुरुआत अच्छी रहेगी और रिश्ते में प्रेम की अभिवृद्धि होगी। हालांकि महीने का उत्तरार्ध कुछ कमजोर रहने की संभावना है। पारिवारिक जीवन में समरसता रहने की संभावनाएं हैं। भाइयों को आपकी मदद की आवश्यकता पड़ सकती है। विद्यार्थी वर्ग को भरपूर मेहनत करने के लिए तैयार रहना चाहिए। स्वास्थ्य की दृष्टिकोण से इस दौरान आपको शारीरिक समस्याओं के प्रति सचेत रहना आवश्यक होगा क्योंकि आप किसी बीमारी की चपेट में आ सकते हैं।
विवाहित जातकों के लिए महीने की शुरुआत अच्छी रहेगी और रिश्ते में प्रेम की अभिवृद्धि होगी। हालांकि महीने का उत्तरार्ध कुछ कमजोर रहने की संभावना है। पारिवारिक जीवन में समरसता रहने की संभावनाएं हैं। भाइयों को आपकी मदद की आवश्यकता पड़ सकती है। विद्यार्थी वर्ग को भरपूर मेहनत करने के लिए तैयार रहना चाहिए। स्वास्थ्य की दृष्टिकोण से इस दौरान आपको शारीरिक समस्याओं के प्रति सचेत रहना आवश्यक होगा क्योंकि आप किसी बीमारी की चपेट में आ सकते हैं।
कार्यक्षेत्र
करियर के दृष्टिकोण से इस महीना काफी ज्यादा व्यस्तता दिख रही है। छठे भाव के स्वामी बृहस्पति महाराज पूरे महीने अष्टम भाव में विराजमान रहेंगे और 9 अक्टूबर से वह वक्री अवस्था में आ जाएंगे। राहु महाराज छठे भाव में विराजमान रहेंगे तो महीने की शुरुआत में सूर्य बुध और केतु भी द्वादश भाव में रहेंगे। इससे नौकरी में आपकी व्यस्तता बढ़ेगी आपके ऊपर काम का दबाव भी रहेगा और आपकी भाग दौड़ अधिक रहेगी। आप चुनौतियों से घबराने वाले नहीं है आप जीवन में संतुलन को महत्व देते हैं इसलिए आप अपने काम को और ज्यादा मेहनत करके सही समय पर सही तरीके से अंजाम तक पहुंचाएंदे। जिस नौकरी में आपकी स्थिति अच्छी ही रहेगी और लोग आपके कार्य कुशलता की प्रशंसा करते नहीं थकेंगे व्यापार करने वाले जातकों के लिए भी यह महीना ठीक-ठाक रहने की संभावना है।
व्यापार के सिलसिले में महीने की शुरुआत में आपको यात्राएं करनी पड़ सकती है। व्यापार में नए व्यावसायिक संबंध स्थापित होंगे जिससे आपके व्यापार में चल रही समस्याएं दूर होंगी और आपके व्यापार को गति प्राप्त होगी। 20 अक्टूबर से मंगल अपनी नीच राशि कर्क में आपके दशम भाव में प्रवेश कर जाएंगे। जिससे कुछ लोगों का विरोध का सामना आपको करना पड़ सकता है। यदि आप चतुराई से चलेंगे तो आपको विदेशी माध्यमों से भी अपने व्यापार में कुछ अच्छे परिणाम मिल सकते हैं। महीने की शुरुआत में व्यावसायिक साझेदारी से आपके संबंध अच्छे रहेंगे लेकिन महीने के उत्तरार्ध में उनमें कुछ समस्या आ सकती है इसलिए सावधान रहे।
महीने की शुरुआत में शुक्र महाराज प्रथम भाव में बैठकर आपके सप्तम भाव को देखकर व्यापार को नई ऊंचाइयों तक ले जाने में मदद करेंगे और आपको हर सुख साधन प्राप्त होगा जो आपके व्यापार के लिए आवश्यक होगा। उसके बाद 10 अक्टूबर से बुध तुला राशि में यानी कि आपकी ही राशि में प्रवेश करेंगे और वहां से आपके सप्तम भाव पर पूर्ण दृष्टि डालेंगे। जिससे व्यापार के सिलसिले से आपको सरकारी क्षेत्र से भी मदद मिलेगी और आप अपनी बुद्धिमानी से अपने व्यापार को सफल बनाने में कामयाब हो सकते हैं। पूरे महीने वक्री शनिदेव पंचम भाव से आपके सप्तम भाव को देखेंगे जिससे बीच-बीच में आपको चुनौतियों का सामना करना पड़ सकता है लेकिन आपको इन चुनौतियों को नजरअंदाज नहीं करना चाहिए बल्कि सामना करते हुए आगे बढ़ना चाहिए।
व्यापार के सिलसिले में महीने की शुरुआत में आपको यात्राएं करनी पड़ सकती है। व्यापार में नए व्यावसायिक संबंध स्थापित होंगे जिससे आपके व्यापार में चल रही समस्याएं दूर होंगी और आपके व्यापार को गति प्राप्त होगी। 20 अक्टूबर से मंगल अपनी नीच राशि कर्क में आपके दशम भाव में प्रवेश कर जाएंगे। जिससे कुछ लोगों का विरोध का सामना आपको करना पड़ सकता है। यदि आप चतुराई से चलेंगे तो आपको विदेशी माध्यमों से भी अपने व्यापार में कुछ अच्छे परिणाम मिल सकते हैं। महीने की शुरुआत में व्यावसायिक साझेदारी से आपके संबंध अच्छे रहेंगे लेकिन महीने के उत्तरार्ध में उनमें कुछ समस्या आ सकती है इसलिए सावधान रहे।
महीने की शुरुआत में शुक्र महाराज प्रथम भाव में बैठकर आपके सप्तम भाव को देखकर व्यापार को नई ऊंचाइयों तक ले जाने में मदद करेंगे और आपको हर सुख साधन प्राप्त होगा जो आपके व्यापार के लिए आवश्यक होगा। उसके बाद 10 अक्टूबर से बुध तुला राशि में यानी कि आपकी ही राशि में प्रवेश करेंगे और वहां से आपके सप्तम भाव पर पूर्ण दृष्टि डालेंगे। जिससे व्यापार के सिलसिले से आपको सरकारी क्षेत्र से भी मदद मिलेगी और आप अपनी बुद्धिमानी से अपने व्यापार को सफल बनाने में कामयाब हो सकते हैं। पूरे महीने वक्री शनिदेव पंचम भाव से आपके सप्तम भाव को देखेंगे जिससे बीच-बीच में आपको चुनौतियों का सामना करना पड़ सकता है लेकिन आपको इन चुनौतियों को नजरअंदाज नहीं करना चाहिए बल्कि सामना करते हुए आगे बढ़ना चाहिए।
आर्थिक
यदि आपकी आर्थिक स्थिति को देखा जाए तो यह महीना आर्थिक तौर पर चुनौतियां प्रस्तुत करने वाला है। वैसे तो पूरे महीने वक्री शनि महाराज पंचम भाव में बैठकर आपका एकादश भाव को देखेंगे और उनकी दृष्टि आपके द्वितीय भाव पर भी होगी। जिससे आप धन प्राप्ति करने धन को बढ़ाने और धन को संचित करने के लिए पूर्ण रूप से प्रयास करते नजर आएंगे। इसमें बहुत हद तक कामयाब भी रहेंगे। आपकी आर्थिक स्थिति बेहतर होने लगेगी, लेकिन दूसरी तरफ राहु महाराज के छठे भाव में बृहस्पति महाराज के अष्टम भाव में पूरे महीने बने रहने के कारण और सूर्य केतु तथा बुध के महीने की शुरुआत में द्वादश भाव में होने के कारण खर्चों की अधिकता महीने की शुरुआत से ही रहेगी। आपके ऊपर खर्च का बोझ बना रहेगा जो आपको परेशान कर सकता है और इससे आप कई मामलों में खुद को असहाय सा महसूस करेंगे क्योंकि घर से आपके नियंत्रण के बाहर हो सकते हैं। हालांकि 20 अक्टूबर से मंगल के दशम भाव में आने 10 अक्टूबर से बुध के तुला में और सूर्य के भी 17 अक्टूबर को तुला में चले जाने से आपकी खर्चों की समस्या धीरे-धीरे कम हो जाएगी। पूरी तरह समाप्त तो नहीं होगी पर उसमें कमी अवश्य आएगी। इसके अतिरिक्त शुक्र 13 अक्टूबर से आपके दूसरे भाव में चले जाएंगे। जिससे आर्थिक स्थिति बेहतर होगी आपका बैंक बैलेंस पड़ेगा और आर्थिक मोर्चे पर आपका कामयाब रहेंगे। व्यवसाय की यात्राओं के माध्यम से व्यापार में भी उन्नति के योग बनेंगे जिससे आपको धन लाभ होगा।
स्वास्थ्य
यह महीना स्वास्थ्य के दृष्टिकोण से कुछ कमजोर रहने की संभावना है। शुक्र महाराज महीने की शुरुआत में अनुकूल स्थिति में अपनी ही राशि में यानी कि आपके प्रथम भाव में विराजमान रहे का आपको एक अच्छा व्यक्तित्व, चुंबकीय आकर्षण और उत्तम स्वास्थ्य प्रदान करेंगे लेकिन इसी समय अगर आप देखे तो पंचम भाव में वक्री शनि महाराज छठे भाव में राहु, अष्टम भाव में बृहस्पति और द्वादश भाव में सूर्य और केतु विराजमान रहेंगे जो आपको स्वास्थ्य समस्याएं दे सकते हैं। बृहस्पति की दृष्टि और नवम भाव में बैठे मंगल की दृष्टि भी द्वादश भाव पर होगी। जिससे आपको नेत्र रोग, आंखों से जुड़ी समस्याएं, पैरों में दर्द तथा पेट से जुड़ी समस्याएं परेशान कर सकती हैं। इसके बाद बुध 10 अक्टूबर से और 16, 17 अक्टूबर से आपके प्रथम भाव में आ जाएंगे और मंगल आपके दशम भाव में चले जाएंगे तब कुछ हद तक इन समस्याओं में कमी आ सकती है लेकिन फिर भी आपको अपने स्वास्थ्य के प्रति सचेत रहना होगा और बारीक से बारीक समस्या पर भी ध्यान देना होगा। तभी आप तंदुरुस्त रहेंगे। अगर आप किसी समस्या से जूझ रहे हैं तो उस पर ध्यान दें और आवश्यक होने पर किसी अन्य चिकित्सक से भी सलाह अवश्य लें, इससे आपको बहुत लाभ मिलेगा।
प्रेम व वैवाहिक
यदि आप किसी प्रेम संबंध में हैं तो यह वक्त आपकी पूरी परीक्षा इस महीने लेने वाला है। पंचम भाव के स्वामी वक्री शनि पंचम भाव में पूरे महीने विराजमान रहेंगे। जिससे आप अपने रिश्ते के प्रति वफादार रहेंगे। आप अपने प्रियतम की खुशी के लिए बहुत कुछ करेंगे और कई मामलों में कुछ कुर्बानियां भी देंगे। आप चाहेंगे कि आप अपने प्रियतम को हर वह खुशी दें जो उनको प्राप्त होनी चाहिए, इससे आपके बीच का प्रेम बढ़ेगा लेकिन 20 अक्टूबर से मंगल अपनी नीच राशि कर्क में दशम भाव में जाकर वहां से अपनी अष्टम दृष्टि से आपके पंचम भाव में विराजमान वक्री शनि महाराज को पूर्ण रूप से देखेंगे जिससे आपके रिश्ते में तनाव बढ़ सकता है आपस में खींचातानी और लड़ाई झगड़े के संभावना भी बढ़ सकती है और आपको तथा आपकी प्रियतम को स्वास्थ्य समस्याएं परेशान कर सकती हैं। वह बीमार पड़ सकते हैं। इस दौरान मानसिक तनाव भी बढ़ाने की संभावना है। इस स्थिति में आप दोनों को एक दूसरे का साथ देना चाहिए। यदि आप अपने प्रेम संबंध में लंबे समय से हैं तो पंचम भाव के स्वामी शनि महाराज के पूर्ण रूप से सप्तम भाव को देखने के कारण आप प्रेम विवाह के लिए लगातार प्रयासरत भी रह सकते हैं।
सप्तम भाव के स्वामी मंगल महाराज महीने की शुरुआत में नवम भाव में विराजमान रहेंगे। तो शुक्र अपनी ही राशि के होकर प्रथम भाव से सप्तम भाव को देखेंगे। जिस वैवाहिक जीवन में समरसता प्रेम और रूमानियत बनी रहेगी। आप और आपके जीवनसाथी के मध्य तनाव में कमी रहेगी और एक दूसरे के प्रति प्रेम की अभिवृद्धि होगी। आप अपने जीवनसाथी के साथ लंबी यात्राओं पर जा सकते हैं और कुछ दर्शनीय स्थलों की सैर भी कर सकते हैं, लेकिन आपके द्वादश भाव में महीने की शुरुआत में सूर्य बुध और केतु की उपस्थिति आपकी अंतरंग संबंधों में कुछ परेशानियां खड़ी कर सकती है और इसकी वजह आपका स्वास्थ्य भी हो सकता है। महीने के उत्तरार्ध में 10 अक्टूबर से बुध और 17 अक्टूबर से सूर्य तुला राशि यानी कि आपकी ही राशि में प्रवेश करने और वहां से आपके सप्तम भाव पर दृष्टि डालने तथा वक्री शनि की दृष्टि भी सप्तम भाव पर होने से वैवाहिक जीवन में थोड़ा तनाव बढ़ सकता है आपको किसी भी तरह के टकराव से बचना चाहिए और अपने जीवनसाथी को पर्याप्त समय और सम्मान देना चाहिए। इससे आपका रिश्ता संभल जाएगा और आप चुनौती पूर्ण समय को भी आसानी से व्यतीत कर लेंगे।
सप्तम भाव के स्वामी मंगल महाराज महीने की शुरुआत में नवम भाव में विराजमान रहेंगे। तो शुक्र अपनी ही राशि के होकर प्रथम भाव से सप्तम भाव को देखेंगे। जिस वैवाहिक जीवन में समरसता प्रेम और रूमानियत बनी रहेगी। आप और आपके जीवनसाथी के मध्य तनाव में कमी रहेगी और एक दूसरे के प्रति प्रेम की अभिवृद्धि होगी। आप अपने जीवनसाथी के साथ लंबी यात्राओं पर जा सकते हैं और कुछ दर्शनीय स्थलों की सैर भी कर सकते हैं, लेकिन आपके द्वादश भाव में महीने की शुरुआत में सूर्य बुध और केतु की उपस्थिति आपकी अंतरंग संबंधों में कुछ परेशानियां खड़ी कर सकती है और इसकी वजह आपका स्वास्थ्य भी हो सकता है। महीने के उत्तरार्ध में 10 अक्टूबर से बुध और 17 अक्टूबर से सूर्य तुला राशि यानी कि आपकी ही राशि में प्रवेश करने और वहां से आपके सप्तम भाव पर दृष्टि डालने तथा वक्री शनि की दृष्टि भी सप्तम भाव पर होने से वैवाहिक जीवन में थोड़ा तनाव बढ़ सकता है आपको किसी भी तरह के टकराव से बचना चाहिए और अपने जीवनसाथी को पर्याप्त समय और सम्मान देना चाहिए। इससे आपका रिश्ता संभल जाएगा और आप चुनौती पूर्ण समय को भी आसानी से व्यतीत कर लेंगे।
पारिवारिक
यह महीना पारिवारिक तौर पर अनुकूल रहने की संभावना दिखाई दे रही है। शुक्र महाराज अपनी ही राशि के होकर विराजमान रहेंगे जिससे आपके मन में सभी के लिए प्रेम की भावना रहेगी और सभी से अच्छा व्यवहार करेंगे। दूसरे भाव के स्वामी मंगल महाराज महीने की शुरुआत में नवम भाव में रहेंगे और इसके परिणामस्वरूप आपको अपने परिवार का साथ मिलेगी। हालांकि 20 अक्टूबर से मंगल कर्क राशि में आपके दशम भाव में जाकर वहां से आपके प्रथम भाव पंचम भाव और चतुर्थ भाव पर पूर्ण दृष्टि डालेंगे जो कुछ समय के लिए पारिवारिक जीवन में तनाव को बढ़ा सकता है। इस दौरान आपके पिताजी को स्वास्थ्य समस्याएं भी परेशान कर सकती हैं। चौथे भाव के स्वामी शनि महाराज पूरे महीने आपके पंचम भाव में विराजमान रहेंगे। जिससे आपके घर के मामलों में सुख सुविधाओं की प्राप्ति होगी। परिवार की उन्नति होगी। घर के लोगों में आपस में एकता बनी रहेगी, लेकिन मंगल के कर्क राशि में आकर आपके चतुर्थ भाव और चतुर्थ भाव के स्वामी शनि महाराज को देखने के कारण आपके माता और पिता का स्वास्थ्य खराब हो सकता है। और घर में कुछ अशांति हो सकती है। इसलिए इस समय को शांति से व्यतीत कर लेने में ही भलाई होगी। आपके भाई बहनों को कुछ चुनौतियों का सामना करना पड़ेगा। जिससे उन्हें आपकी मदद की दरकार होगी। ऐसी स्थिति में उनके साथ दे क्योंकि यह आपका नैतिक कर्तव्य भी है और इससे आपके बीच संबंधों में मधुरता भी बढ़ेगी।
उपाय
आपको शनिवार के दिन शनि चालीसा का पाठ अवश्य करना चाहिए।
इसके अतिरिक्त आप चमेली के तेल का दीपक श्री हनुमान जी की मूर्ति के समक्ष प्रज्वलित करके सात बार श्री बजरंग बाण का पाठ भी कर सकते हैं।
कठिन समस्याओं से मुक्ति के लिए छाया दान करना बेहतर रहेगा।
आपको एक अच्छी गुणवत्ता वाला ओपल रत्न अपनी अनामिका अंगुली में शुक्रवार के दिन धारण करना सभी प्रकार के सुख प्रदान करने में मददगार बनेगा।
इसके अतिरिक्त आप चमेली के तेल का दीपक श्री हनुमान जी की मूर्ति के समक्ष प्रज्वलित करके सात बार श्री बजरंग बाण का पाठ भी कर सकते हैं।
कठिन समस्याओं से मुक्ति के लिए छाया दान करना बेहतर रहेगा।
आपको एक अच्छी गुणवत्ता वाला ओपल रत्न अपनी अनामिका अंगुली में शुक्रवार के दिन धारण करना सभी प्रकार के सुख प्रदान करने में मददगार बनेगा।
वृश्चिक का मासिक राशिफल / Vrishchika Masik Rashifal in Hindi
October, 2024
सामान्य
यह महीना वृश्चिक राशि के जातकों के लिए अनुकूल रहने की अच्छी संभावना दिखाई देती है। इस महीने आपकी आर्थिक स्थिति में अच्छा सुधार देखने को मिलेगा। महीने का पूर्वार्ध तो जरूर से ज्यादा अच्छा रह सकता है क्योंकि आपके पास अधिक मात्रा में धन आने के योग बनेंगे। हालांकि महीने के उत्तरार्ध में खर्च जोर पकड़ सकते हैं। पारिवारिक संबंधों में मिठास रहेगी। आपस में मिलजुल कर रहने से और कड़वा ना बोलने से स्थितियां संभाल सकती हैं। करियर की बात करें तो नौकरी में आपको अच्छे समाधान मिलेंगे। आपको अपने वरिष्ठ अधिकारियों की कृपा पाने के लिए थोड़ा प्रयास करना होगा, क्योंकि कुछ मामलों में वह आपसे नाराज हो सकते हैं। ऐसे में उनका भरोसा जितना आपके लिए चुनौती होगा। व्यापार करने वाले जातकों को अनेक प्रकार के लाभ प्राप्त होंगे और व्यापार में उन्नति का सुखद संयोग बनेगा। प्रेम संबंधों में उतार-चढ़ाव के बाद भी प्रेम का अंश बचा रहेगा जो आपके रिश्ते को संभालेगा। वैवाहिक जीवन बिता रहे लोगों को सुख की प्राप्ति होगी और जीवनसाथी का अच्छा सानिध्य प्राप्त होगा। विद्यार्थियों के लिए यह महीना शुरुआत में चुनौतियां लेकर आएगा और आपकी एकाग्रता भंग होगी। महीने की शुरुआत में विदेश जाने के इच्छुक लोग विदेश जा सकते हैं और वहां उन्हें अनेक प्रकार की सुख सुविधाओं की प्राप्ति होगी इस महीने आप कोई नया वाहन या महंगी वस्तु खरीद सकते हैं।
कार्यक्षेत्र
करियर के दृष्टिकोण से यह महीना उतार-चढ़ाव से भरा रहने वाला है। दशम भाव के स्वामी सूर्य महाराज महीने की शुरुआत में एकादश भाव में बुध और केतु के साथ विराजमान रहेंगे और उन पर अष्टम भाव में बैठे मंगल और सप्तम भाव में बैठे देवगुरु बृहस्पति की पूर्ण दृष्टि होगी। मंगल महाराज भी अष्टम भाव में विराजमान रहेंगे। यह समय नौकरी में कुछ ऐसी समस्याओं को जन्म दे सकता है, जिससे आपके वरिष्ठ अधिकारी आपसे नाराज हो सकते हैं। इसलिए आपको उनकी कृपा प्राप्ति के लिए यह आवश्यक होगा कि अपना पूर्ण योगदान करें और अपने काम को बेहतर से बेहतर बनाने की कोशिश करें। आपको जरूरत से ज्यादा प्रयास करने होंगे। तब जाकर आपके ऊपर से काम का दबाव थोड़ा नियंत्रण में आ पाएगा और आप अपने काम को और बेहतर तरीके से अंजाम तक पहुंच पाएंगे। 20 अक्टूबर से मंगल नवम भाव में आ जाएंगे और सूर्य 17 अक्टूबर से द्वादश भाव में चले जाएंगे। जिसके चलते काम के सिलसिले में विदेश यात्रा और लंबी यात्राओं के योग बन सकते हैं। इससे नौकरी में अच्छी सफलता तो मिलेगी ही आपका विभाग परिवर्तन या स्थान परिवर्तन के भी योग बनेंगे। आपको अपने कार्यक्षेत्र में चल रही समस्याओं से मुक्ति मिलेगी और आप बेहतर प्रदर्शन कर पाने में सफल रहेंगे।
व्यापार करने वाले जातकों को महीने की शुरुआत में अनुकूल परिणाम की प्राप्ति होगी। सप्तम भाव के स्वामी शुक्र महाराज द्वादश भाव में अपनी ही राशि काल में विराजमान रहेंगे। जिससे विदेशी व्यापार से ज्यादा लाभ होने के योग बनेंगे। आप अपने व्यापार के लिए नए लोगों से मुलाकात भी करेंगे जो आपके व्यापार को प्रगती प्रदान करेगी। देवगुरु बृहस्पति आपके सप्तम भाव में विराजमान रहकर गढ़ मान्य लोगों से आपके व्यापार को सफलता प्रदान करने में मदद करेंगे। आपके व्यापार में नए संपर्क स्थापित होंगे। आपके व्यावसायिक साझेदार से भी संबंध मधुर रहेंगे, जिसका आपको व्यापार में उन्नति के रूप में फायदा देखने को मिलेगा और आप उससे गदगद हो उठेंगे।
व्यापार करने वाले जातकों को महीने की शुरुआत में अनुकूल परिणाम की प्राप्ति होगी। सप्तम भाव के स्वामी शुक्र महाराज द्वादश भाव में अपनी ही राशि काल में विराजमान रहेंगे। जिससे विदेशी व्यापार से ज्यादा लाभ होने के योग बनेंगे। आप अपने व्यापार के लिए नए लोगों से मुलाकात भी करेंगे जो आपके व्यापार को प्रगती प्रदान करेगी। देवगुरु बृहस्पति आपके सप्तम भाव में विराजमान रहकर गढ़ मान्य लोगों से आपके व्यापार को सफलता प्रदान करने में मदद करेंगे। आपके व्यापार में नए संपर्क स्थापित होंगे। आपके व्यावसायिक साझेदार से भी संबंध मधुर रहेंगे, जिसका आपको व्यापार में उन्नति के रूप में फायदा देखने को मिलेगा और आप उससे गदगद हो उठेंगे।
आर्थिक
यदि आपकी आर्थिक स्थिति को देखा जाए तो यह महीना शुरुआत में बहुत अच्छा रहेगा। पंचम भाव में सूर्य बुध और केतु की उपस्थिति रहेगी। राहु पंचम भाव में रहेंगे। देवगुरु बृहस्पति की दृष्टि भी आपके प्रथम, तृतीय और एकादश भाव पर रहेगी। जिससे आमदनी में अच्छी बढ़ोतरी देखने को मिलेगी। आपके पास कई माध्यमों से धन आएगा। जिससे आप अपने धन का सही प्रबंधन भी कर पाएंगे और इससे आपको संतुष्टि प्राप्त होगी। हालांकि द्वादश भाव में शुक्र अपनी ही राशि के होकर विराजमान रहेंगे। जिससे विदेश यात्रा पर और कुछ नए गैजेट खरीदने पर तथा महंगे कपड़े और गहने आदि खरीदने पर आप खर्च कर सकते हैं लेकिन यह आपकी खुशी के लिए होगा और आपकी खुशी सबसे महत्वपूर्ण है इसलिए आपको इसकी कोई परेशानी नहीं होगी। हालांकि 10 अक्टूबर से बुध और 17 अक्टूबर से सूर्य के भी द्वादश भाव में चले जाने से खर्चों में और ज्यादा तेजी आ सकती है इसलिए आपको थोड़ा समझना होगा। व्यापार से अच्छा धन लाभ हो सकता है जो आपकी आर्थिक स्थिति को मजबूत बनाने में मददगार रहेगा।
स्वास्थ्य
यह महीना स्वास्थ्य के दृष्टिकोण से कुछ कमजोर रहने की संभावना है। महीने की शुरुआत में आपकी राशि स्वामी मंगल महाराज अष्टम भाव में विराजमान रहेंगे तथा कन्या राशि यानी कि आपका एकादश भाव में सूर्य-केतु एक साथ विराजमान होंगे और उन पर मंगल और बृहस्पति की दृष्टि होगी, जिससे आपको स्वास्थ्य समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है। पेट से जुड़े रोग पेट में ऐंठन मरोड़ कीड़े होना जैसी समस्या परेशान कर सकती है। इसके अतिरिक्त अन्य समस्याएं भी आपको परेशान कर सकती हैं। उनके प्रति सावधानी बरतें। महीने के उत्तरार्ध में सूर्य बुध के द्वादश भाव में जाने से भी स्वास्थ्य पर विपरीत असर पड़ सकता है इसलिए थोड़ी सी सावधानी रखें जिससे आपका स्वास्थ्य है अच्छा बना रहे और कोई भी बीमारी आपका कुछ न बिगाड़ पाए।
प्रेम व वैवाहिक
यदि आप किसी प्रेम संबंध में हैं तो यह महीना आपको अच्छी सफलता प्रदान कर सकता है। आप जिससे प्यार करते हैं उन्हीं से विवाह करने में कामयाब हो सकते हैं या उनके सामने प्रेम विवाह का प्रस्ताव रख सकते हैं। जिसमें आपको सफलता मिलने की प्रबल संभावना रहेगी और आपका प्रेम विवाह होने के योग बन सकते हैं। सूर्य और बुध तथा केतु की उपस्थिति एकादश भाव में होने और उनकी दृष्टि पंचम भाव पर होने से आप दोनों के बीच वाद-विवाद जैसी स्थिति जन्म ले सकती है। जिससे आपका प्रेम संबंध में हलचल मच सकती है, लेकिन 17 अक्टूबर से सूर्य और उससे पहले ही 10 अक्टूबर से बुध आपके द्वादश भाव में चले जाएंगे और शुक्र 13 अक्टूबर से आपकी राशि में प्रवेश करेंगे। जिससे आपके बीच प्रेम बढ़ेगा। आपकी प्रियतम को आपका स्वभाव पसंद आएगा। आपका बातचीत करने का तरीका उनके दिल में घर कर जाएगा और आपके बीच रोमांस के योग भी बनेंगे। जिससे आपका प्रेम परिपक्व होगा। गृहस्थ जीवन बिता रहे जातकों के लिए महीना अनुकूल है। आपको अपने जीवनसाथी का भरपूर सहयोग और प्रेम प्राप्त होगा आपके बीच की दूरियां कम ।होगी पहले से यदि कोई समस्या चली आ रही थी तो वह भी अब दूर होने लगेगी और पति-पत्नी के संबंधों में मधुरता बढ़ेगी। आप अपने रिश्ते को लेकर बहुत ज्यादा प्रसन्न महसूस करेंगे। हालांकि आपके ससुराल वाले कुछ ऐसी बातें कर सकते हैं जो आपके रिश्ते को बिगड़े लेकिन आप समझदारी का परिचय देते हुए उनसे बाहर निकल आएंगे और अपने रिश्ते में मजबूत रहेंगे।
पारिवारिक
यह महीना पारिवारिक तौर पर उतार-चढ़ाव दिख रहा है। दूसरे भाव के स्वामी बृहस्पति महाराज सप्तम भाव में विराजमान रहेंगे। जिससे पारिवारिक संबंधों में मधुरता बनी रहेगी। आपके परिवार के बुजुर्गों का पूरा सहयोग मिलेगा। वह आपका मार्गदर्शन करेंगे और आपको आशीर्वाद भी देंगे। इसके साथ ही आपके महत्वपूर्ण निर्णय लेने में वह आपकी मदद भी करेंगे। अष्टम भाव में बैठे मंगल की दृष्टि भी दूसरे भाव पर रहेगी। जिससे बीच-बीच में कुछ अचानक से ऐसी बातें उठाएंगे जो परिवार का माहौल बिगाड़ सकती है, लेकिन आप उन्हें संभालने में कामयाब भी रहेंगे क्योंकि आपकी राशि पर देवगुरु बृहस्पति की दृष्टि होगी जो आपको सही निर्णय लेने में मदद करेगी। चतुर्थ भाव में पूरे महीने चतुर्थ भाव के स्वामी शनि महाराज वक्री अवस्था में विराजमान रहेंगे। जिससे परिवार में कुछ परिस्थितियों ऐसी जन्म ले सकती हैं कि आपके परिवार से कुछ समय के लिए दूर जाना पड़ सकता है। काम का दबाव भी आपके ऊपर होगा। आपकी अति व्यस्तता परिवार से दूरी का कारण बन सकती है इसलिए आपको सावधानी से काम लेना चाहिए। ताकि परिवार में किसी तरह की कोई समस्या ना हो। भाई बहनों से आपके संबंध अच्छे रहेंगे। वे आपके सुख प्राप्त करने में आपका मददगार बनेंगे और अच्छे भाई-बहन होने का फर्ज निभाएंगे।
उपाय
आपको श्री दुर्गा कवच का पाठ करना चाहिए।
इसके अतिरिक्त प्रतिदिन श्री दुर्गा चालीसा का पाठ व मां दुर्गा के मंत्र का जाप करना चाहिए।
भगवान शिव का रुद्राभिषेक करना भी आपके लिए अति उत्तम रहेगा।
आपको अपनी राशि स्वामी मंगल महाराज की उत्तम कृपा प्राप्ति के लिए मंगल ग्रह के बीज मंत्र का कम से कम 108 बार प्रतिदिन जाप करना चाहिए।
इसके अतिरिक्त प्रतिदिन श्री दुर्गा चालीसा का पाठ व मां दुर्गा के मंत्र का जाप करना चाहिए।
भगवान शिव का रुद्राभिषेक करना भी आपके लिए अति उत्तम रहेगा।
आपको अपनी राशि स्वामी मंगल महाराज की उत्तम कृपा प्राप्ति के लिए मंगल ग्रह के बीज मंत्र का कम से कम 108 बार प्रतिदिन जाप करना चाहिए।
धनु का मासिक राशिफल / Dhanu Masik Rashifal in Hindi
October, 2024
सामान्य
यह महीना धनु राशि के जातकों के लिए बहुत ज्यादा उथल-पुथल वाला महीना रह सकता है। महीने की शुरुआत में ही 6 ग्रहों का प्रभाव आपके दशम भाव पर होने से करियर में उतर्शन आपकी स्थितियां रहेंगे। ऐसे में, आपको अपने कार्यस्थल पर संभलकर रहना होगा क्योंकि बात-बात में कोई ऐसी बात बिगड़ सकती है जिससे कार्यक्षेत्र में परेशानी आ सकती है इसलिए आपको सावधानी बरतनी होगी। बिजनेस करने वाले जातकों को अपने व्यावसायिक साझेदार से अच्छे संबंध बनाए रखने पर ध्यान देना होगा, वैसे व्यापार के लिए समय अच्छा रहेगा। पारिवारिक जीवन में तनाव रहेगा और घर के बुजुर्गों का स्वास्थ्य बिगड़ सकता है उस पर ध्यान दें और घर में शांति बनाए रखने की कोशिश करें। प्रेम संबंधों के लिए अच्छा समय रहेगा और आप अपने प्रियतम के साथ विवाह के बारे में चर्चा करते दिखाई देंगे यानी कि विवाह करने के बारे में विचार कर सकते हैं। पहले से विवाहित जातकों को अपने जीवनसाथी के क्रोध का सामना करना पड़ सकता है जिससे रिश्ते में कुछ समय के लिए खटास पड़ सकती है। इसके परिणामस्वरूप, आपको सावधानी दिखाते हुए अपने रिश्ते को संभालना होगा और अपने आत्मसम्मान को भी बनाए रखना होगा। विद्यार्थी वर्ग के लिए महीना अनुकूल रहेगा और आप अपनी पढ़ाई पर ध्यान केंद्रित करने में सफल हो सकते हैं। बेरोजगार जातकों को नौकरी की प्राप्ति हो सकती है। लेकिन स्वास्थ्य उतार-चढ़ाव से भरा रहने वाला है और खर्चें भी अधिक होंगे इसलिए आमदनी पर भी ध्यान देना होगा। विदेश जाने के बारे में विचार बना सकते हैं और ऐसे में, किसी लंबी ट्रैवलिंग पर जा सकते हैं।
कार्यक्षेत्र
करियर के दृष्टिकोण से यह महीना उतार-चढ़ाव से भरा रहने वाला है। आपके दशम भाव में सूर्य, बुध, केतु तो विराजमान रहेंगे ही उनके ऊपर राहु, बृहस्पति और मंगल का प्रभाव भी रहेगा। इस प्रकार, एक साथ 6 ग्रह आपके दशम भाव को प्रभावित करेंगे जिससे आपके लिए कार्यक्षेत्र में जमे रहना बड़ी मुश्किल का काम होगा। ऐसे में, आपके मन में अनेक प्रकार की बातें बार-बार आती-जाती रहेगी और कार्यस्थल का माहौल भी बिगड़ेगा इसलिए आपको सावधानी रखनी होगी। छठे भाव के स्वामी शुक्र महाराज एकादश भाव में विराजमान रहेंगे जिससे नौकरी में आपको पदोन्नति और तनख्वाह में वृद्धि की सौगात भी मिल सकती है 10 अक्टूबर से बुध और 17 अक्टूबर से सूर्य दशम भाव से निकलकर एकादश भाव में आएंगे जिसके परिणामस्वरूप, आपके वरिष्ठ अधिकारियों का सहयोग आपको प्राप्त होगा और नौकरी में सुधार होगा। आप अपने काम पर ज्यादा ध्यान दे पाएंगे और सफल हो पाएंगे। बिजनेस कर रहे जातकों को भी अपने क्रोध पर नियंत्रण रखना होगा। ऐसी भी संभावना है कि आपके व्यावसायिक साझेदार से संबंध कुछ समय के लिए बिगड़ जाए। ऐसे में, आपको सावधानी रखनी होगी और उनसे अच्छे संबंध निरंतर बनाने की कोशिश करनी होगी ताकि वह आपका कोई अहित करने के बारे में विचार न करें। साथ ही, आप दोनों मिलकर अपने व्यापार को सही दिशा में उन्नति की राह पर साथ-साथ आगे लेकर जाने के बारे में विचार करें क्योंकि इस समय आपके व्यावसायिक साझेदार का आपसे दूर जाना आपके लिए नुकसानदायक हो सकता है। यदि आप एकल व्यापार करते हैं तो अपने क्रोध पर नियंत्रण रखें और अपने साथ किसी नए व्यक्ति को आगे बढ़कर काम करने का मौका दें, इससे आपको लाभ होगा।
आर्थिक
यदि आपकी आर्थिक स्थिति को देखा जाए तो महीने की शुरुआत सामान्य रहेगी। खर्चों पर नियंत्रण रहेगा, लेकिन महीने के उत्तरार्ध में सूर्य, बुध एक आदर्श भाव में चले जाएंगे जिससे आमदनी बढ़िया हो जाएगी। हालांकि, शुक्र द्वादश भाव के हो जाएंगे जो आपकी बनी-बनाई आमदनी को खर्च कर सकते हैं यानी कि आप कोई नया गैजेट, कोई सामान और दैनिक आवश्यकताओं की पूर्ति से संबंधित वस्तुओं पर खर्च कर सकते हैं। वहीं, देवगुरु बृहस्पति पूरे महीने छठे भाव में बैठकर द्वादश भाव को देखेंगे जिसके प्रभाव से लगातार खर्चे बने रहेंगे, लेकिन वक्री शनि की दृष्टि भी द्वादश भाव पर होने से खर्च बढ़ सकते हैं इसलिए सावधानी रखें। लेकिन शनि ही इन खर्चों को कम करने में भी मदद करेंगे इसलिए आपको स्वयं प्रयास करना होगा और जो खर्चे अति आवश्यक न हों उन्हें टाल दिया जाए, इससे आपका बहुत सारा धन आपके पास रहेगा और आपकी आर्थिक स्थिति सुदृढ़ होने लगेगी।
स्वास्थ्य
यह महीना स्वास्थ्य के दृष्टिकोण से कमज़ोर रहने की संभावना है क्योंकि आपके राशि स्वामी बृहस्पति महाराज इस पूरे महीने छठे भाव में विराजमान रहने वाले हैं और वह 9 अक्टूबर से वक्री अवस्था में भी आ जाएंगे। वहीं, मंगल महाराज जो 20 अक्टूबर तक आपके सप्तम भाव में हैं वह भी 20 अक्टूबर से आपके अष्टम भाव में चले जाएंगे जिससे स्वास्थ्य समस्याएं बढ़ सकती हैं। शुक्र महाराज 13 अक्टूबर से द्वादश भाव में प्रवेश कर जाएंगे जिन पर बृहस्पति और शनि की दृष्टि होगी। इन सभी वजहों से स्वास्थ्य समस्याएं आपको पीड़ित कर सकती हैं विशेष रूप से छाती का इन्फेक्शन या अनेक प्रकार की समस्याएं आपको परेशान कर सकती हैं। ऐसे में, आपको अपने स्वास्थ्य को बेहतर बनाने के लिए कुछ नए प्रयास करने की आवश्यकता होगी।
प्रेम व वैवाहिक
यदि आप किसी प्रेम संबंध में हैं तो महीने की शुरुआत बहुत शानदार रहने वाली है क्योंकि पंचम भाव के स्वामी मंगल महाराज सप्तम भाव में विराजमान होंगे। ऐसे में, महीने की शुरुआत में एक आदर्श भाव के स्वामी और प्रेम के कारक शुक्र महाराज एक आदर्श भाव में विराजमान रहकर पंचम भाव पर पूर्ण दृष्टि डालेंगे जिससे आपके रिश्ते में मधुरता के साथ-साथ प्रेम में भी वृद्धि होगी। आपके बीच रोमांस के योग बनेंगे और आपस में प्रेम बढ़ेगा। एक-दूसरे के दिल में आप जगह बनाएंगे और आप एक-दूसरे के लिए बहुत कुछ करेंगे जिससे आप और आपकी प्रियतम के बीच नजदीकियां बढ़ने से आपका रिश्ता और परिपक्व होगा। हालांकि, महीने के उत्तरार्ध में यानी कि जब शुक्र द्वादश भाव में 13 अक्टूबर को चले जाएंगे। वहीं, बुध 10 अक्टूबर से और सूर्य 13 अक्टूबर से एकादश भाव में आकर पंचम भाव को देखेंगे तथा पंचम भाव के स्वामी 20 अक्टूबर से अष्टम भाव में चले जाएंगे तब आपको थोड़ा सावधान रहना होगा। कुछ रिश्तों से संबंधित पुरानी बातें सामने आ सकती हैं जिससे एक-दूसरे को परेशानी हो सकती है। लेकिन यदि आप अपने रिश्ते को लेकर दृढ़ प्रतिज्ञ हैं और एक-दूसरे से सच्चा प्रेम करते हैं तो कोई भी चुनौती आपका कुछ नहीं बिगाड़ पाएगी और आपका रिश्ता भी बना रहेगा इसलिए स्वयं को महत्व दें। यदि आप किसी से प्यार करते हैं तो अपने मन की बात उन तक पहुंचा सकते हैं और विवाह की बात भी कर सकते हैं क्योंकि सफलता मिलने के योग बनेंगे। पहले से ही विवाहित जातकों को कुछ चुनौतियों का सामना करना पड़ सकता है। जीवनसाथी को कार्यक्षेत्र में समस्याएं आएंगी उन्हें समझाने-बुझाने तथा उनके साथ देने के चक्कर में आप अपने रिश्ते में भी थोड़ी सी समस्या महसूस कर सकते हैं इसलिए उनको इतना ही समझाएं जीतना जरूरी हो। आपस में प्रेम कैसे बढ़े इस पर ध्यान दें और रिश्ते के महत्व को समझें, इससे आपका वैवाहिक जीवन दुरुस्त हो जाएगा।
पारिवारिक
यह महीना पारिवारिक जीवन के लिए उतार-चढ़ाव से भरा रहने वाला है। निजी रिश्तों में समस्याएं आ सकती हैं। परिवार में बुजुर्गों की सेहत बिगड़ सकती है और परिवार के माहौल में अशांति का बोलबाला रह सकता है इसलिए घर में शांति बनाए रखने पर ध्यान दें। भाई-बहन आपके साथ रहेंगे लेकिन उनकी किसी बात को लेकर आप बुरा मान न जाए ऐसा उन्हें डर रहेगा क्योंकि आप उनकी छोटी-छोटी बात को बारीकी से देखेंगे। ऐसे में, आपके उनसे संबंध बिगड़ सकते हैं, इस बात का ध्यान रखें। दूसरे भाग में शनि महाराज तीसरे भाव में वक्री अवस्था में विराजमान रहेंगे जिससे आप अपने भाई-बहनों की हर संभव मदद कर सकेंगे और उनके प्रति आपका प्रेम बढ़ेगा। साथ ही, आपका रिश्ता भी मधुर होगा। पारिवारिक जीवन में आपको शांति बनाए रखने के लिए बहुत ज्यादा प्रयास करने होंगे। हालांकि, इस महीने के उत्तरार्ध में जाकर आप सफल हो सकते हैं।
उपाय
आपको प्रतिदिन सूर्य देव को अर्घ्य देना चाहिए।
सूर्याष्टक का पाठ करना आपके लिए लाभदायक रहेगा।
अपने ही राशि स्वामी देवगुरु बृहस्पति के बीज मंत्र का जाप करें।
गुरुवार के दिन ब्राह्मणों की सेवा करें और उन्हें भोजन कराएं। साथ ही, किसी विद्वान बालक की भी मदद कर सकते हैं।
सूर्याष्टक का पाठ करना आपके लिए लाभदायक रहेगा।
अपने ही राशि स्वामी देवगुरु बृहस्पति के बीज मंत्र का जाप करें।
गुरुवार के दिन ब्राह्मणों की सेवा करें और उन्हें भोजन कराएं। साथ ही, किसी विद्वान बालक की भी मदद कर सकते हैं।
मकर का मासिक राशिफल / Makara Masik Rashifal in Hindi
October, 2024
सामान्य
यह महीना मकर राशि में जन्म लेने वाले जातकों के लिए अनुकूल रहने की संभावना है। अक्टूबर में आपको स्वास्थ्य लाभ होगा, लेकिन आपको अपने खुद की गलतियों की वजह से परेशानी उठानी पड़ सकती है क्योंकि आप अपनी सेहत के प्रति लापरवाह रहेंगे और यह स्थिति आपको बीमार बना सकती है। करियर के मामले में आपको कुछ बदलाव देखने को मिल सकते हैं। साथ ही, नौकरी में बदलाव आ सकता है और आपको कोई नई नौकरी मिल सकती है। अगर आप किसी अच्छी नौकरी में हैं तो आपके स्थानांतरण के योग बन सकते हैं। व्यापार करने वाले जातकों को कठिन चुनौतियों का सामना करते हुए आगे बढ़ना होगा और इसी से उनको व्यापार में सफलता मिलने के योग बनेंगे। प्रेम संबंधों के लिए यह महीना अनुकूल रहेगा और आपकी शादी होने के योग भी बन रहे हैं इसलिए अपनी तरफ से कोई गलती न करें। गृहस्थ जीवन में तनाव में कमी आएगी। आपस में प्रेम बढ़ेगा और आपको गृहस्थ जीवन का पूरा लुत्फ उठाने का मौका मिलेगा। विद्यार्थी वर्ग के लिए महीना अनुकूल रहेगा और आपको अच्छी सफलता मिल सकती है। आर्थिक मामलों में यह महीना मध्य रहने की संभावना है।
कार्यक्षेत्र
करियर के दृष्टिकोण से यह महीना बढ़िया रहने की संभावना है क्योंकि दशम भाव के स्वामी शुक्र महाराज महीने की शुरुआत में दशम भाव में ही विराजमान रहकर आपको कार्यालय में अच्छी सफलता देंगे। आपके आसपास का माहौल भी बढ़िया रहेगा, बस आपको एक बात का ध्यान रखना है कि यदि आप किसी से व्यर्थ की गप्पे बाजी और अपनी पर्सनल बातें ज्यादा शेयर न करते हुए अपने काम पर ध्यान देंगे, तो इससे आपको अपने करियर में अच्छे परिणाम मिलेंगे। साथ ही, किसी से भी झगडे या विवाद से बचें। छठे भाव के स्वामी बुध महाराज महीने की शुरुआत में आपके नवम भाव में और उसके बाद 10 अक्टूबर से दशम भाव में प्रवेश करेंगे इसलिए कार्यक्षेत्र में आपको बदलाव का सामना करना पड़ सकता है। आपके कार्यस्थल की स्थिति में बदलाव आ सकता है जिसकी वजह से आपको स्थान परिवर्तन करना पड़ सकता है। महीने की शुरुआत में आपके पास अच्छी नौकरी का अवसर आ सकता है जिसे आपको समय रहते स्वीकार करने पर ध्यान देना होगा। इस नौकरी में आपको अपनी प्रतिभा दिखाने का मौका मिलेगा। हालांकि, छठे भाव के स्वामी बुध महाराज महीने की शुरुआत से ही आपके नवम भाव में सूर्य और केतु के साथ विराजमान रहेंगे तथा छठे भाव में मंगल महाराज बैठे रहेंगे। इसके परिणामस्वरूप, सरकारी क्षेत्र में आपको परिस्थितियों से जूझने का मौका मिलेगा। ऐसे में, आप मज़बूत बनेंगे और खूब मेहनत करेंगे। संघर्ष के बाद आपको अच्छी सफलता मिल सकती है। व्यापार करने वाले जातकों के लिए महीना अनुकूल रहेगा। इस दौरान आपकी योजनाएं सफल होंगी जो आपके व्यापार के लिए बेहद महत्वपूर्ण साबित होंगी। इससे आपके व्यापार को एक नई ऊर्जा प्राप्त होगी जिससे आप अच्छी सफलता प्राप्त कर सकेंगे। व्यावसायिक संबंध सुधरेंगे और लंबी यात्राओं से आपको लाभ होगा।
आर्थिक
यदि आपकी आर्थिक स्थिति को देखा जाए तो यह महीना ठीक-ठाक रहने की संभावना है। इस समय मंगल महाराज छठे भाव में बैठकर द्वादश भाव को देखेंगे जिससे खर्चों में कटौती करने के योग बनेंगे और यह आपकी मदद करेंगे। हालांकि, आपको धन प्राप्ति के अच्छे अवसर प्राप्त हो सकते हैं विशेष रूप से 13 अक्टूबर से जब शुक्र आपके एकादश भाव में प्रवेश करेंगे। यह समय आर्थिक रूप से अच्छा रहेगा और आपकी उन्नति होगी। साथ ही, आपको धन-धान्य की प्राप्ति होगी। वहीं, बृहस्पति महाराज पूरे महीने पंचम भाव में विराजमान रहेंगे और वहां से अपनी पूर्ण सप्तम दृष्टि से आपके एकादश भाव को देखकर आपकी आमदनी में वृद्धि के योग बनाते रहेंगे इसलिए आपको चिंतित होने की आवश्यकता नहीं होगी। सूर्य और बुध आपके दशम भाव में महीने के उत्तरार्ध में आ जाएंगे तब आपको सरकारी क्षेत्र से भी लाभ हो सकता है। व्यापार करने वाले जातकों को यात्राओं से तो लाभ होगा ही बल्कि व्यावसायिक क्षेत्रों से जुड़े लोगों से बार-बार संपर्क करने से भी कुछ बढ़िया मुनाफा हाथ लग सकता है और आपकी आर्थिक स्थिति सुधर सकती है।
स्वास्थ्य
यह महीना स्वास्थ्य के दृष्टिकोण से ठीक-ठाक रहने की संभावना है, फिर भी आपको थोड़ी सी सावधानी रखनी होगी। इस महीने आपके राशि स्वामी शनि महाराज दूसरे भाव में अपने ही राशि में वक्री अवस्था में विराजमान रहेंगे, उधर बृहस्पति 9 अक्टूबर से वक्री होकर आपके प्रथम भाव पर भी दृष्टि डालेंगे तथा मंगल महाराज महीने की शुरुआत में अपनी नीच राशि कर्क में आपके छठे भाव में विराजमान रहेंगे। उसके बाद 20 अक्टूबर से मंगल सप्तम भाव में आकर आपकी ही राशि पर दृष्टि डालेंगे इसलिए स्वास्थ्य समस्याओं के प्रति लापरवाही बरतें, बल्कि इन्हें एक संकेत समझें जिसकी मदद से आप अपने स्वास्थ्य को बेहतर बना सकते हैं। खुद के प्रति लापरवाही बरतने से बचेंगे तो सब ठीक होगा। इस महीने आपको दांतों में दर्द, मुंह के छाले या गले में दर्द आदि होने की आशंका है। साथ ही, पेट से जुड़ी समस्याएं भी परेशान कर सकती हैं इसलिए सावधानी रखें।
प्रेम व वैवाहिक
यदि आप किसी प्रेम संबंध में हैं तो आपके लिए यह महीना अनुकूल रहने की संभावना है। आप और आपके प्रियतम के बीच अच्छा सामंजस्य देखने को मिलेगा। साथ ही, आप दोनों एक-दूसरे की अच्छी बुरी बातों को समझेंगे और एक-दूसरे की गलती उजागर नहीं करेंगे। यह आपके रिश्ते की सबसे बढ़िया बात होगी और इसी से आपको एक-दूसरे का साथ देने का मौका मिलेगा। इस समय आपके प्रेम विवाह होने के योग भी बनेंगे, विशेष रूप से महीने के उत्तरार्ध में अपनी पसंद से विवाह करने की स्थिति बन सकती है। अगर आप किसी को प्यार करते हैं और शादी करना चाहते हैं तो महीने का उत्तरार्ध इसके लिए अनुकूल रहने वाला है। वैसे, इस महीने आपके प्रियतम के दिल में आपके प्रति सम्मान की भावना भी रहेगी। वह समय-समय पर इसे दर्शाएंगे जिससे आपको और भी अच्छा लगेगा और आपका विश्वास उन पर मज़बूत होगा। विवाहित जातकों के लिए महीना अच्छा रहेगा और महीने की शुरुआत में आप अपने जीवनसाथी के साथ किसी यात्रा पर जा सकते हैं। साथ ही, आप पारिवारिक जरूरतों को पूरा करेंगे। आपस में प्रेम बना रहेगा और आपसी संबंध बेहतर होंगे जिससे यह महीना आपको खुशी देगा। परिवार में संतान के जन्म होने जैसे खुशी के समाचार मिल सकते हैं लेकिन, 20 अक्टूबर से मंगल आपके सप्तम भाव में प्रवेश करेंगे तब से आगे का समय कुछ चुनौतीपूर्ण रहेगा। इसके परिणामस्वरूप, आपस में तनाव बढ़ सकता है और फ़िज़ूल की लड़ाई हो सकती है इसलिए आपको थोड़ी सी सावधानी जरूर रखनी होगी। इस महीने के उत्तरार्द्ध में आप अपने जीवनसाथी के साथ कहीं घूमने जा सकते हैं जिससे एक-दूसरे को ज्यादा बेहतर तरीके से समझने का मौका मिलेगा और आपका रिश्ता परिपक्व होगा।
पारिवारिक
यह महीना पारिवारिक जीवन के लिए ठीक-ठाक रहने की संभावना है क्योंकि दूसरे भाव के स्वामी शनि महाराज दूसरे भाव में वक्री अवस्था में रहेंगे जिससे आप कई बार स्पष्टवादीता का परिचय देंगे यानी कि अपनी बात को साफ-साफ कहेंगे, भले ही किसी को आपकी बात बुरी लग जाए। हालांकि, कुछ परिवार के सदस्य इसका बुरा भी मान सकते हैं और आपसे उनकी कहासुनी हो सकती है इसलिए आपको थोड़ा सा मीठा बोलने का प्रयास करना चाहिए ताकि आपकी कही हुई सही बात किसी को कड़वी न लगे। वक्री शनि महाराज की दृष्टि आपके चतुर्थ भाव पर भी होगी और चतुर्थ भाव के स्वामी मंगल महाराज महीने की शुरुआत में छठे भाव में होंगे और 20 अक्टूबर से आपके सप्तम भाव में प्रवेश कर जाएंगे। ऐसे में, आपको कुछ चुनौतियों का सामना भी करना पड़ेगा और परिवार में कभी-कभी विवाद जन्म ले सकता है। हालांकि, कोई चिंता की बात नहीं होगी, फिर भी आपको मानसिक तनाव हो सकता है। जहां तक आपके भाई-बहनों का सवाल है तो वह आपके लिए मददगार और सहयोगी साबित होंगे। हालांकि, वह मूडी हो सकते हैं और अपने मन के अनुसार ही काम करेंगे फिर भी आपको उनका साथ पाकर खुशी होगी। साथ ही, वह किसी यात्रा पर भी जा सकते हैं। परिवार में माता-पिता का स्वास्थ्य अनुकूल रहेगा लेकिन 20 अक्टूबर से जब मंगल आपके सप्तम भाव में प्रवेश करेंगे और वहां से आपके दशम भाव प्रथम भाव और द्वितीय भाव को देखेंगे, तो परिवार में कुछ बातों को लेकर लंबा विवाद चल सकता है इसलिए थोड़ी सी सावधानी दिखानी होगी। ऐसे में, आप अपनी बुद्धिमानी दिखा कर कई सारी समस्याओं से बच सकते हैं।
उपाय
आपको प्रतिदिन महाराज दशरथ कृत नील शनि स्तोत्र का पाठ करना चाहिए।
श्री गणेश को दुर्वांकुर अर्पित करें।
संभव हो तो श्री गणेश चतुर्थी का व्रत रखें।
कठिन समस्याओं से बचने के लिए श्रीराम रक्षा स्तोत्र का पाठ करना भी लाभदायक रहेगा।
श्री गणेश को दुर्वांकुर अर्पित करें।
संभव हो तो श्री गणेश चतुर्थी का व्रत रखें।
कठिन समस्याओं से बचने के लिए श्रीराम रक्षा स्तोत्र का पाठ करना भी लाभदायक रहेगा।
कुम्भ का मासिक राशिफल / Kumbha Masik Rashifal in Hindi
October, 2024
सामान्य
कुंभ राशि में जन्मे जातकों के लिए यह महीना कुछ सावधानी बरतने वाला रहेगा। सर्वप्रथम तो आपको अपने स्वास्थ्य के प्रति सावधानी रखनी होगी जो महीने की शुरुआत में ही कमज़ोर रहने वाला है। हालांकि, महीने के उत्तरार्ध में सेहत में सुधार के संकेत दिखाई देते हैं। वहीं, करियर के मामले में आपको अच्छे परिणाम तो मिलेंगे, लेकिन नौकरी में बदलाव आ सकता है। व्यापार करने वाले जातकों को महीने के पूर्वार्ध में चुनौतियों का सामना करना पड़ेगा, परंतु इस दौरान आपको सफलता मिल सकती है। प्रेम संबंधों में तनाव की स्थिति बनी रह सकती है। वैवाहिक जीवन में कुछ मुश्किलें रहेंगी और ऐसे में, ससुराल के लोगों से कहासुनी करने से बचना ही बेहतर होगा। आर्थिक तौर पर चुनौतियां ज्यादा रहने वाली हैं इसलिए इस महीने आपको सावधानी बरतनी होगी। विद्यार्थी वर्ग को चुनौतियों के बाद सफलता मिल सकती है। साथ ही, विदेश यात्रा के योग बन सकते हैं और आप कोई संपत्ति खरीदने में कामयाब हो सकते हैं।
कार्यक्षेत्र
करियर के दृष्टिकोण से यह महीना मध्य रूप से फलदायक रहेगा। दशम भाव के स्वामी मंगल महाराज महीने की शुरुआत में ही आपके पंचम भाव में मिथुन राशि में विराजमान रहेंगे तथा देवगुरु बृहस्पति की दृष्टि दशम भाव पर रहेगी। साथ ही, 9 अक्टूबर से बृहस्पति वक्री दृष्टि से दशम भाव को देखेंगे तथा आपके राशि स्वामी शनि महाराज प्रथम भाव से वक्री दृष्टि से ही दशम भाव को देखेंगे। ऐसे में, इससे नौकरी में आपके ऊपर काम का दबाव भी रहेगा और हो सकता है कि एक ही काम को आपको बार-बार करना पड़ जाए। लेकिन, इससे हताश या निराश न हो बल्कि अपने जज्बे को बनाए रखें और लगातार मेहनत करते रहें क्योंकि उसी से आपको लाभ मिलेगा। यदि आपने नौकरी के लिए कहीं आवेदन किया था, तो वहां से आपको सूचना मिल सकती है और आपको नौकरी में बदलाव करने में सफलता मिल सकती है। हालांकि, 20 अक्टूबर से मंगल महाराज छठे भाव में आ जाएंगे तब आपकी नौकरी में बेहतर परिस्थितियों का निर्माण करेंगे। बुध 10 अक्टूबर से और सूर्य 17 अक्टूबर से तुला राशि में आपके नवम भाव में प्रवेश करेंगे और नवंबर के स्वामी शुक्र महाराज 13 अक्टूबर से आपके दशम भाव में आ जाएंगे। इस परिणामस्वरूप, आपके स्थानांतरण के योग भी बन सकते हैं लेकिन आपकी नौकरी में अच्छी स्थितियों का निर्माण होगा और करियर में आपकी स्थिति मजबूत होगी। इसके विपरीत, व्यापार करने वाले जातकों को कुछ चुनौतियों का सामना करना पड़ेगा क्योंकि वक्री शनि महाराज की दृष्टि आपके सप्तम भाव पर पूरे महीने रहने वाली है। सप्तम भाव के स्वामी सूर्य महाराज महीने की शुरुआत में अष्टम भाव में बुध और केतु के साथ विराजमान रहेंगे जिससे व्यापार में चुनौतियां बढ़ेंगी। साथ ही, आपको कुछ आसान कामों को करने में भी बार-बार रुकावट का सामना करना पड़ सकता है और बनते हुए काम कुछ समय के लिए अटक सकते हैं, लेकिन हिम्मत न हारें और अपने काम में लग रहें। महीने के उत्तरार्ध में आपको मनचाहे परिणाम प्राप्त हो सकते हैं और व्यापार के सिलसिले में यात्राओं के योग भी महीने के उत्तराखंड में बनेंगे यह यात्राएं आपके व्यापार में उन्नति दिला सकती हैं इसलिए आपको शुरुआत से ही निकले तैयार और तत्पर रहना होगा यदि आप अपने व्यापार को विस्तार देना चाहते हैं तो उसके लिए भी महीने का उत्तरार्ध अधिक अनुकूल रहने की संभावना है।
आर्थिक
यदि आपकी आर्थिक स्थिति को देखा जाए तो यह इस महीने उतार-चढ़ाव से भरी रह सकती है क्योंकि दूसरे भाव में उपस्थित राहु महाराज आपको धन संचय करने में समस्या देंगे। अष्टम भाव में बैठे सूर्य, बुध और केतु महीने की शुरुआत में कुछ गुप्त धन दे सकते हैं लेकिन शुक्र महाराज नवम भाव में बैठकर आपको सुख-सुविधाओं पर धन खर्च करने में आनंद देंगे। ऐसे में, आप कोई वाहन खरीद सकते हैं जिस पर आपको अच्छा खासा खर्च करना पड़ेगा। हालांकि, इसमें आपको मजा आएगा और कोई बड़ी चिंता की बात नहीं होगी, लेकिन फिजूलखर्ची से बचना होगा। महीने के उत्तरार्ध में खर्चों में थोड़ी कमी आ सकती है फिर भी आपकी आमदनी उतनी ज्यादा नहीं होगी जितनी आप उम्मीद करते हैं इसलिए आपको अपने धन का सदुपयोग करने पर ध्यान देना होगा और अनावश्यक खर्चों से बचना होगा। ऐसा करने से आपको लाभ मिलेगा। महीने की शुरुआत में शेयर बाजार में निवेश करने का जोखिम बिल्कुल न उठाएं, अन्यथा आपको परेशानी हो सकती है।
स्वास्थ्य
यह महीना स्वास्थ्य के दृष्टिकोण से कुछ कमज़ोर रहने की संभावना है क्योंकि आपके राशि स्वामी शनि महाराज वक्री अवस्था में आपके प्रथम भाव में पूरे महीने बने रहेंगे। लेकिन चौथे भाव में 9 अक्टूबर से बृहस्पति वक्री अवस्था में होंगे। वहीं, 20 अक्टूबर से मंगल आपके छठे भाव में अपनी नीच राशि कर्क में होंगे जबकि महीने की शुरुआत में सूर्य, बुध, केतु अष्टम भाव में होंगे तथा पूरे महीने केतु महाराज अष्टम भाव में विराजमान रहेंगे। यह आपको स्वास्थ्य समस्याएं देकर परेशान कर सकते हैं। ऐसे में, अपने स्वास्थ्य के प्रति सजग रहें। सुबह की सैर पर जाएं और सुपाच्य भोजन ग्रहण करें क्योंकि हल्का भोजन करना आपको पेट से जुड़ी समस्याओं से बचाकर रखेगा। साथ ही, शरीर में गैस न बनने दें, ऐसा करके आप बहुत सारी समस्याओं से बच सकते हैं। रक्त से जुड़ी समस्याएं आपको परेशान कर सकती हैं इसलिए रक्त की अशुद्धि को दूर करने का प्रयास करें। महीने के अंतिम सप्ताह में स्वास्थ्य में सुधार देखने को मिलेगा और पुरानी स्वास्थ्य समस्याओं से भी मुक्ति मिलेगी।
प्रेम व वैवाहिक
यदि आप किसी प्रेम संबंध में हैं तो महीने की शुरुआत कमज़ोर रहने की संभावना है। पंचम भाव के स्वामी बुध महाराज महीने की शुरुआत में ही आपके अष्टम भाव में अपनी अस्त अवस्था में सूर्य और केतु के साथ विराजमान रहेंगे जबकि मंगल महाराज पंचम भाव में बैठे होंगे। ऐसे में, आपके रिश्ते से प्रेम कम होने लगेगा और आप एक-दूसरे की कमियों को निकालने की कोशिश में रहेंगे जो किसी भी रिश्ते के लिए अनुकूल स्थिति नहीं है। हालांकि, नवम भाव में शुक्र महाराज अपनी ही राशि में बैठकर दिल में प्रेम का भाव बढ़ाते रहेंगे। वहीं, 10 अक्टूबर से बुध अष्टम भाव से निकलकर नवम भाव में प्रवेश करेंगे तब इन समस्याओं में कमी आएगी और आपके बीच प्रेम बढ़ने लगेगा। लेकिन, 20 अक्टूबर से मंगल भी पंचम भाव को छोड़ देंगे और छठे भाव में आ जाएंगे जिससे आपके प्रेम की नैया स्थिर हो जाएगी और बहुत आराम से चलने लगेगी। इसके परिणामस्वरूप, आपके प्रियतम से आपकी नजदीकियां बढ़ेंगी और आपके बीच प्रेम व रूमानियत भी बढ़ेगी। आप एक-दूसरे के साथ भरपूर समय बिताएंगे और एक-दूसरे को अच्छे से समझेंगे। साथ ही, अपने रिश्ते में परिपक्वता महसूस करेंगे। इस प्रकार महीने का उत्तरार्ध आपके रिश्ते को और बेहतर बना देगा। वैवाहिक जीवन में जातकों को कुछ चुनौतियों का सामना करना पड़ेगा क्योंकि वक्री शनि महाराज पूरे महीने आपके सप्तम भाव पर दृष्टि बनाए रखेंगे। इसके साथ ही सप्तम भाव के स्वामी सूर्य महाराज महीने की शुरुआत में अष्टम भाव में रहेंगे जिससे ससुराल पक्ष में कोई समस्या पैदा हो सकती है। आपको अपने जीवनसाथी से भी अपनी बात कहने में समस्या होगी क्योंकि आपको लगेगा कि वह आपकी बात नहीं मान रहे हैं और आपकी बातों को ठीक से सुनना नहीं चाहते हैं। यह गलतफहमियां आपके रिश्ते को परेशानी में डाल सकती हैं इसलिए आपको सावधानी रखनी होगी। इस महीने उत्तरार्ध में जब सूर्य और बुध भी अष्टम भाव से निकल जाएंगे तब इन चुनौतियों में कुछ हद तक कमी आ सकती है फिर भी आपको थोड़ा सा ध्यान रखना होगा। इस महीने आपके जीवनसाथी को स्वास्थ्य समस्या भी परेशान कर सकती है इसलिए उनका ध्यान रखें और आवश्यक होने पर चिकित्सक से संपर्क करें। एक-दूसरे को प्रेम दें और एक-दूसरे को महत्व दें इससे आपका रिश्ता अच्छे से व्यतीत होगा।
पारिवारिक
यह महीना पारिवारिक जीवन के लिए औसत रहने की संभावना है क्योंकि दूसरे भाव में पूरे महीने राहु महाराज विराजमान रहेंगे। वहीं, दूसरे भाव के स्वामी बृहस्पति महाराज पूरे महीने चतुर्थ भाव में रहेंगे तथा सूर्य, बुध और केतु महीने की शुरुआत से ही आपके दूसरे भाव को देखेंगे जिससे पारिवारिक जीवन में कुछ असंतुष्टि रह सकती है। आपस में लोगों के विचार न मिलने के कारण पारिवारिक तनाव बढ़ सकता है और कुछ जमीन-जायदाद से जुड़े मुद्दे भी पैदा हो सकते हैं जो परिवार के माहौल को बिगाड़ सकते हैं। आपको परिवार में शांति बनाए रखने के लिए बहुत ज्यादा प्रयास करने होंगे। हालांकि, आपकी खासियत भी यही रहेगी कि आप अपनी बातों से सबको प्रभावित कर सकते हैं और अपनी बात मनवा सकते हैं जिससे परिवार में शांति आएगी। हालांकि, चौथे भाव में पूरे महीने बृहस्पति महाराज विराजमान रहेंगे और 9 अक्टूबर से वक्री भी हो जाएंगे। जबकि चतुर्थ भाव के स्वामी शुक्र महाराज महीने की शुरुआत में आपके नवम भाव में और उसके बाद 13 अक्टूबर से आपके दशम भाव में रहेंगे। इसके परिणामस्वरूप, इन सभी ग्रहों की स्थितियां आपके पक्ष में रहेंगी जिसके चलते आपको सुख की प्राप्ति होगी और जमीन-जायदाद में बढ़ोतरी हो सकती है। इस महीने आप कोई चल अथवा अचल संपत्ति खरीद सकते हैं विशेष रूप से कोई वाहन खरीदने में सफल हो सकते हैं। वक्री शनि महाराज की दृष्टि आपके तीसरे भाव पर पूरे महीने रहेगी तथा सूर्य व बुध महीने के उत्तरार्ध में तीसरे भाव पर दृष्टि डालेंगे। तीसरे भाव के स्वामी मंगल महाराज महीने की शुरुआत में पंचम भाव में और 20 अक्टूबर से छठे भाव में रहेंगे और ऐसे में, आपके भाई-बहनों को कुछ न कुछ चुनौतियों का सामना करना पड़ सकता है इसलिए आपको उनकी मदद के लिए तत्पर रहना चाहिए क्योंकि यही आपका वास्तविक रिश्ता है और वे सदैव आपके साथ खड़े रहेंगे तो उनकी चुनौतियों में भी आपको उनका साथ देना चाहिए। इससे एक अच्छे परिवार का निर्माण होगा।
उपाय
आपको श्री विष्णु सहस्रनाम स्तोत्र का पाठ करना चाहिए।
राधा-कृष्ण जी के दर्शन करें और उनका भजन करें।
समस्याओं से मुक्ति पाने के लिए श्रीकृष्ण जी को माखन और मिश्री का भोग लगाकर स्वयं भी ग्रहण करें।
स्फटिक की माला से शुक्रवार के दिन श्री महालक्ष्मी मंत्र का जाप करना आर्थिक चुनौतियों को कम करेगा।
राधा-कृष्ण जी के दर्शन करें और उनका भजन करें।
समस्याओं से मुक्ति पाने के लिए श्रीकृष्ण जी को माखन और मिश्री का भोग लगाकर स्वयं भी ग्रहण करें।
स्फटिक की माला से शुक्रवार के दिन श्री महालक्ष्मी मंत्र का जाप करना आर्थिक चुनौतियों को कम करेगा।
मीन का मासिक राशिफल / Meena Masik Rashifal in Hindi
October, 2024
सामान्य
यह महीना मीन राशि के जातकों के लिए औसत रूप से फलदायक रहने वाला है। आर्थिक चुनौतियां आपको कुछ परेशानी में डाल सकती हैं क्योंकि खर्चे नियंत्रण से बाहर हो सकते हैं। स्वास्थ्य की दृष्टिकोण से उतार-चढ़ाव की स्थितियां बनती रहेंगी इसलिए स्वास्थ्य पर भी ध्यान देना होगा। करियर के मामले में स्थितियां ठीक-ठाक रहेंगी। अपने सहकर्मियों से अच्छा व्यवहार आपको नौकरी में मजबूती देगा। व्यापार करने वाले जातकों को कुछ असमंजस की स्थिति का सामना करना पड़ेगा और कुछ मामलों में गहन समझदारी और विशेषज्ञ की राय लेना बेहतर होगा क्योंकि इसी से व्यापार को सफल बना पाएंगे। प्रेम संबंधों के लिए महीना अच्छा है और आप अपने प्रेम संबंधों को सही मुकाम तक पहुंचाने के लिए प्रयत्नशील रहेंगे। वहीं, वैवाहिक संबंधों में उतार-चढ़ाव के योग बनेंगे। विद्यार्थी वर्ग के लिए समय अच्छा तो है लेकिन अपनी एकाग्रता को बढ़ाना आपके लिए एक चुनौती होगा। पारिवारिक जीवन ठीक-ठाक रहने की संभावना है।
कार्यक्षेत्र
करियर के दृष्टिकोण से यह महीना सामान्य रहने की संभावना है क्योंकि दशम भाव के स्वामी बृहस्पति महाराज पूरे महीने आपके तीसरे भाव में विराजमान रहेंगे और 9 अक्टूबर से वक्री अवस्था में भी आ जाएंगे। ऐसे में, आपको अपने यहां काम करने वाले सहकर्मियों से अच्छा व्यवहार करना चाहिए क्योंकि बृहस्पति की वक्री अवस्था में वही आपकी मदद करेंगे इसलिए उनसे अच्छा व्यवहार आपके कार्यक्षेत्र में अपना प्रदर्शन बेहतर बनाने में मददगार बनेगा। मंगल महाराज महीने की शुरुआत में चतुर्थ भाव में बैठकर आपका दशम भाव देखेंगे और आपको अपने काम में जुझारू बनाएंगे। वहीं, छठे भाव के स्वामी सूर्य महाराज महीने की शुरुआत में सप्तम भाव में और उसके बाद अष्टम भाव में विराजमान रहेंगे जो कि आपको अपनी नौकरी को लेकर चुनौतीपूर्ण स्थितियों से बाहर निकलने में मदद करेंगे। इसके परिणामस्वरूप, आप जी भरकर मेहनत करेंगे और अपने काम पर ध्यान देंगे जिससे आपके प्रदर्शन में लगातार सुधार होता रहेगा और आप नौकरी में अच्छी स्थिति में रहेंगे। व्यापार करने वाले जातकों को कुछ असमंजस का सामना करना पड़ेगा। महीने की शुरुआत में राहु महाराज प्रथम भाव में और सूर्य, बुध और केतु आपके सप्तम भाव में विराजमान रहेंगे, उन पर मंगल और बृहस्पति की दृष्टि भी होगी। इस वजह से आप व्यापार को लेकर सही निर्णय लेने की स्थिति में नहीं होंगे इसलिए इस दौरान कोई भी बड़ा निर्णय लेने से आपको कुछ समय के लिए बचना चाहिए और विशेषज्ञों की राय लेकर ही अपने व्यापार में आगे बढ़ना चाहिए क्योंकि आपके कुछ काम अटक सकते हैं। उसके बाद 10 अक्टूबर से बुध और 17 अक्टूबर से सूर्य आपके अष्टम भाव में प्रवेश करेंगे तो अष्टम भाव में बैठे शुक्र महाराज 13 अक्टूबर को आपके नवम भाव में चले जाएंगे। वहीं, 20 अक्टूबर से मंगल भी कर्क राशि में आपके पंचम भाव में आ जाएंगे तब इन स्थितियों में कुछ हद तक बदलाव आएगा, फिर भी आपको इस महीने सावधानी से चलना होगा। कोई भी बड़ा जोखिम उठाने से बचें और कोई बड़ा निर्णय यदि संभव हो तो इस महीने के बाद के लिए टाल दें, इससे आपको व्यापार में अपनी पकड़ बनाने में सफलता मिल सकती है।
आर्थिक
यदि आपकी आर्थिक स्थिति को देखा जाए तो इस महीने खर्चे जरूरत से ज्यादा हो सकते हैं। पूरे महीने वक्री शनि द्वादश भाव में विराजमान रहकर आपसे खर्चे करवाते रहेंगे। इसके अतिरिक्त सूर्य और बुध महीने के उत्तरार्ध में और शुक्र महीने के पूर्वार्ध में आपके अष्टम भाव में विराजमान रहकर खर्च बढ़ाएंगे। यह सभी स्थितियां आर्थिक चुनौतियों के रूप में आपके सामने आएंगी, चाहे आपकी आमदनी ठीक-ठाक हो। लेकिन खर्च जरूर से ज्यादा होने के कारण आपको चिंता दे सकते हैं इसलिए बेहतर यही होगा कि महीने की शुरुआत से ही अपने खर्चों में कटौती करने की कोशिश करें और प्राप्त धन को सही जगह उपयोग करें ताकि आप ज्यादा से ज्यादा लाभ उठा सकें और आवश्यक होने पर उसका प्रयोग कर सकें। व्यापार में किसी तरह का आर्थिक जोखिम उठाने से बचना ही हितकर होगा।
स्वास्थ्य
यह महीना स्वास्थ्य के दृष्टिकोण से उतार-चढ़ाव भरा रहने वाला है क्योंकि आपके राशि स्वामी बृहस्पति महाराज महीने की शुरुआत से लेकर अंत तक आपके तीसरे भाव में बने रहेंगे। लेकिन आपकी राशि में राहु महाराज विराजमान रहेंगे जो आपको लापरवाह बनाएंगे और इसी लापरवाही में आप स्वास्थ्य समस्याओं का शिकार हो सकते हैं। वहीं, वक्री शनि महाराज महीने के दौरान आपके द्वादश भाव में बैठे रहेंगे जो स्वास्थ्य समस्याओं का कारण बन सकते हैं। साथ ही, आपके पैर में चोट लगने अथवा पैर में मोच आने की स्थिति बन सकती है। इसके अलावा, नेत्र रोग परेशान कर सकते हैं। महीने के उत्तरार्ध में सूर्य और बुध भी आपके अष्टम भाव में आ जाएंगे तब आपको स्वास्थ्य समस्याओं पर ज्यादा ध्यान देना होगा। यदि कोई भी समस्या बढ़ती है तो तुरंत चिकित्सक से संपर्क करें और अपनी समस्याओं को समय रहते ही दूर करने की कोशिश करें, इससे आपका स्वास्थ्य बेहतर होगा।
प्रेम व वैवाहिक
यदि आप किसी प्रेम संबंध में हैं तो महीने की शुरुआत ठीक-ठाक रहेगी। आप अपने प्रियतम को लेकर बहुत ज्यादा संजीदा रहेंगे और अपने प्रेम जीवन को संवारने के लिए हद से ज्यादा प्रयास करेंगे जो कई बार बहुत कामयाब रहेंगे, लेकिन कई बार आपको निराश कर सकते हैं इसलिए सामान्य बने रहें। अपने प्रियतम से अपनी हर बात को स्पष्ट रूप से कहें ताकि आप दोनों के बीच किसी तरह की कोई गलतफहमी जन्म न ले पाए। यदि आप विवाहित हैं तो आपको कुछ चुनौतियों का सामना करना पड़ेगा। सप्तम भाव पर सात ग्रहों का एक साथ प्रभाव पड़ेगा जो कि वैवाहिक जीवन के लिए कठिन रह सकता है। ऐसे में आपको बहुत ज्यादा धैर्य के साथ काम करना होगा और जीवनसाथी के व्यवहार को देखना होगा यदि उनमें कुछ बदलाव भी दिखता है तो उनसे शांति से बैठकर बातचीत करें और समस्याओं से अवगत कराएं ताकि आप दोनों बहुत ही सरलता से अपनी हर चुनौती से बाहर निकल सकें, अन्यथा पारिवारिक क्लेश और कलह की स्थिति जन्म ले सकती है। ऐसे में, आपको इनसे बचने के लिए कठिन प्रयास करने होंगे। हालांकि, बुध और सूर्य के महीने के उत्तरार्ध में अष्टम भाव में चले जाने से इन समस्याओं में कुछ हद तक कमी आ सकती है फिर भी आपको ध्यान देना होगा।
पारिवारिक
यह महीना पारिवारिक जीवन के लिए ठीक-ठाक रहने की संभावना है। दूसरे भाव के स्वामी मंगल महाराज महीने की शुरुआत में आपके चतुर्थ भाव में विराजमान रहेंगे और वक्री शनि महाराज की दृष्टि पूरे महीने आपके दूसरे भाव पर रहेगी। इसके परिणामस्वरूप, आपको अपनी वाणी पर ध्यान देना होगा तथा ऐसी बातों से बचना होगा जो परिवार की शांति भंग कर दें। परिवार में यदि किसी बात को लेकर तनाव चल रहा है तो इसमें ज्यादा हस्तक्षेप करने की बजाय स्थितियों का आकलन मन ही मन करें और उनसे बाहर निकालने की चेष्टा करें। चतुर्थ भाव के स्वामी बुध महाराज महीने की शुरुआत में आपके सप्तम भाव में सूर्य और केतु के साथ रहेंगे और 10 अक्टूबर से आपके अष्टम भाव में चले जाएंगे। ऐसे में, जमीन-जायदाद से जुड़े मामलों पर वाद-विवाद बढ़ सकता है। साथ ही, आपकी माता जी को स्वास्थ्य समस्या का सामना करना पड़ सकता है इसलिए आपको उनके स्वास्थ्य पर भी ध्यान देना होगा। परिवार की शांति को भी बनाए रखने के प्रयास बहुत ज्यादा करने होंगे। इस दौरान भाई-बहनों से आपके संबंध अच्छे रहेंगे और आप दोनों के बीच का आपसी स्नेह और प्रेम आपको मज़बूत बनाएगा जिससे आपको आगे बढ़ने का हौसला मिलेगा।
उपाय
आपको अपने राशि स्वामी देवगुरु बृहस्पति के बीज मंत्र का प्रतिदिन एक निश्चित संख्या में जाप करना चाहिए।
मंगलवार के दिन हनुमान जी को चार केले अर्पित करें।
प्रतिदिन श्री बजरंग बाण का पाठ अवश्य करें।
मछलियों को दाना डालना भी आपके लिए हितकारी होगा।
मंगलवार के दिन हनुमान जी को चार केले अर्पित करें।
प्रतिदिन श्री बजरंग बाण का पाठ अवश्य करें।
मछलियों को दाना डालना भी आपके लिए हितकारी होगा।